CG News : स्कूल में बस्ता विहीन में कार्यक्रम का आयोजन, बच्चों को छत्तीसगढ़ की संस्कृति से कराया अवगत...
शिक्षिका बच्चों को छत्तीसगढ़ी संस्कृति परम्परा से बच्चों को समय समय-पर अवगत कराती रहती हैं। बच्चों को शनिवार गतिविधि में छत्तीसगढ़ी पोशाक पहनकर आने को कहा जाता है, कहे अनुसार बच्चे भी छत्तीसगढ़ी पोशाक पहनकर स्कूल आते हैं। पढ़िए पूरी खबर....;
बेमेतरा। छत्तीसगढ़ के बेमेतरा जिले के शासकीय प्राथमिक शाला सैगोना में शनिवार बस्ता विहीन कार्यक्रम अंतर्गत बच्चों के सीखने सिखाने को लेकर विभिन्न गतिविधि करायी जाती है। स्कूल की नवाचारी शिक्षिका हिम कल्याणी नित नए नए तरीको से बच्चों को सिखाने का प्रयास करती है।
शिक्षिका हिम कल्याणी बस्ता विहीन कार्यक्रम के अन्तर्गत, वे कैलेंडर देखना सिखाती हैं. जिससे बच्चें गिनती, महीनों के नाम, सप्ताह के दिनों के नाम तारीख के अनुसार पर्व विशेष को देखना सीख पाते हैं. मेहंदी से शिक्षा के अंतर्गत बलवाड़ी और कक्षा पहली के बच्चों के हाथों में मेहंदी से गिनती, वर्ण, अल्फाबेट, गोला, लकीर बनाई जिससे बच्चें खेल खेल में एक दूसरे का हाथ देखकर पढ़ना सीखे, विभिन्न जानवरों का निबंध लेखन कराती है. साथ ही बच्चों को सोच समझकर लिखने हेतु प्रेरित करती हैं और बच्चें बड़ी संख्या में भाग भी लेते है।
बच्चों को दी जाती है छत्तीसगढ़िया संस्कृति की शिक्षा
शिक्षिका बच्चों को छत्तीसगढ़ी संस्कृति परम्परा से बच्चों को समय समय-पर अवगत कराती रहती हैं। बच्चों को शनिवार गतिविधि में छत्तीसगढ़ी पोशाक पहनकर आने को कहा जाता है, कहे अनुसार बच्चे भी छत्तीसगढ़ी पोशाक पहनकर स्कूल आते हैं। बांस से बनी वस्तुओं सूपा, टुकनी, पर्रा, धुकनी आदि लेकर आते है, जबकि धान की फ़सल पकने को है शिक्षिका बच्चों को धान की बुआई से लेकर कटाई तक की जानकारी देती हैं। साथ ही बच्चें टुकनी में धान लेकर आये और छत्तीसगढ़ के भुइया म छत्तीसगढ़ी गीत में अपनी प्रस्तुति भी दिए, शिक्षिका ने उपहार देकर बच्चों को प्रोत्साहित किया। प्रधान पाठक लेखराम वर्मा, कुन्ती सिन्हा, बबीता ध्रुव, पीरेंद्र वर्मा, नीमा वर्मा, लक्ष्मीन सिन्हा और सुनीता वर्मा सहित कई शिक्षक उपस्थित रहे और बच्चों का उत्साह वर्धन किया।