कड़ी मशक्कत के बाद, भिलाई-चरोदा में कांग्रेस का महापौर और सभापति
निर्मल महापौर और कृष्णा सभापति को 24-24 मत मिले, पुनिया ने बैठक लेकर दी थी हिदायत, खबर है कि बैकुंठपुर की घटना के बाद सीजी प्रभारी पीएल पुनिया देर रात पहुंचकर रायपुर होटल में रुके। सभी कांग्रेसी पार्षदों की बैठक लेकर हिदायत भी दिया। उसी के बदौलत कांग्रेस का महापौर और सभापति बन पाया है। पढ़िए पूरी ख़बर..;
भिलाई: नगर पालिक निगम भिलाई-चरोदा में आखिरकार कांग्रेस का ही महापौर और सभापति बन गया है। 40 वार्डों के पार्षदों ने सोमवार को अपना महापौर और सभापति चुन लिया है। कांग्रेस के पास 19 पार्षद कांग्रेस और 4 निर्दलियों का समर्थन मिला। 23 पार्षदों की बदौलत कांग्रेस की शहर सरकार भिलाई-चरोदा में बन पाई है। कांग्रेस के महापौर निर्मल कोसरे और सभापति कृष्णा चंद्राकर को चुना गया। मतदान में महापौर को 24 और सभापति को भी 24 मत मिले। वहीं भाजपा की महापौर प्रत्याशी नंदिनी जांगड़े और सभापति प्रत्याशी चंद्रप्रकाश पाण्डेय दोनों 16-16 मत मिल पाया। लंबे समय बाद कांग्रेस की सरकार यहां बन पाई है। वहीं, भाजपा के पास 14 पार्षद थे यहां से 7 निर्दलीय पार्षद जीतकर निगम पहुंचे है। भिलाई-चरोदा निगम ने एक दिन पहले ही शपथ ग्रहण की तैयारी पूरी तरह कंप्लीट करने के बाद सोमवार को रायपुर से सभी कांग्रेसी पार्षद 10 बजे निगम कार्यालय पहुंचे। उसके थोड़ी देर बाद भाजपा के पार्षद भी पहुंचे। शपथ ग्रहण ग्रहण होने के बाद महापौर और सभापति प्रत्याशियों का नामांकन दाखिल किया गया। इस दौरान भाजपा भी अपनी पूरी तैयारी के साथ पहुंची थी। निर्मल कोसरे दुर्ग ग्रामीण कांग्रेस कमेटी अध्यक्ष है तो कृष्णा चंद्राकर नगर पालिका परिषद के दौरान उपाध्यक्ष के पद पर रह चुके है।
क्रास वोटिंग का डर था कांग्रेस को
बैकुंठपुर की घटना के बाद से कांग्रेस के वरिष्ठ नेता समेत पर्यवेक्षक अटल श्रीवास्तव भी सुबह से कांग्रेस पार्षद के साथ जुटे रहे। बैंकुठपुर की घटना के बाद लगातार कांग्रेसी नेता अपने पार्षदों के साथ जुड़े रहे। लेकिन क्रास वोटिंग नहीं हो पाया। इसके अलावा महापौर सभापति की घोषणा होते तक सभी कांग्रेसी पार्षदों पर पैनी नजर लगी रही।