विस में गूंजा नग्न प्रदर्शन कांड : चंदेल बोले- युवाओं ने प्रदर्शन के लिए अल्टीमेटम दिया था.. गृहमंत्री ने कहा- ये सरासर गलत है... तब बृजमोहन ने दिया हरिभूमि की खबर का हवाला

नेता प्रतिपक्ष चंदेल ने कहा कि, यह मामला बेहद शर्मनाक है। फर्जी प्रमाणपत्रों को लेकर युवा पहले से ही आवाज बुलंद करते रहे हैं। पीड़ित युवाओं ने इसे अधिकारों का हनन बताया था। इसके बावजूद राज्य सरकार में थोड़ी सी भी नैतिकता नहीं है।...पढ़े पूरी खबर;

Update: 2023-07-19 12:18 GMT

रायपुर- विधनसभा मानसून सत्र के दौरान फर्जी आरक्षण प्रमाणपत्रों का आरोप लगाते हुए युवाओं ने नग्न प्रदर्शन किया था। मानसून सत्र के दूसरे दिन इस मु्द्दे को उठाते हुए नेता प्रतिपक्ष नारायाण चंदेल ने कहा कि, यह मामला बेहद शर्मनाक है। फर्जी प्रमाणपत्रों को लेकर युवा पहले से ही आवाज बुलंद करते रहे हैं। पीड़ित युवाओं ने इसे अधिकारों का हनन बताया था। इसके बावजूद राज्य सरकार में थोड़ी सी भी नैतिकता नहीं है। श्री चंदेल ने इसी मामले पर सीएम बघेल पर हमला बोलते हुए कहा कि, सीएम को अपने पद में बने रहने का अधिकार नहीं है।

सीएम इस्तीफा दें- चंदेल

नेता प्रतिपक्ष नारायण चंदेल ने कहा कि, फर्जी प्रमाण पत्र को लेकर युवाओं ने अल्टीमेटम दिया था तो फिर सरकार ने कार्यवाही क्यों नहीं की। प्रदेश में हमेशा से शांतिपूर्ण प्रदर्शन होता है। लेकिन कांग्रेस की वजह से इस तरह का बेहूदा प्रदर्शन पीड़ित युवाओं की तरफ से किया गया है। इधर, वरिष्ठ विधायक बृजमोहन अग्रवाल ने पीड़ित युवाओं के प्रदर्शन को लेकर कहा कि, हरिभूमि.कॉम में पहले से जिक्र किया गया था कि, फर्जी आरक्षण प्रमाणपत्रों पर सरकार बातचीत करें और समाधना निकलें। फिर सरकार किस बात का इंतजार कर रही थी।

युवाओं ने जानकारी नहीं दी- गृहमंत्री

युवाओं ने प्रदर्शन की जानकारी को लेकर गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू ने कहा कि, यह कहना सही नहीं है की युवाओं ने प्रदर्शन की जानकारी पहले से दी थी। अचानक नग्न होकर प्रदर्शन किया गया है। आपको बता दें, फर्जी आरक्षण प्रमाणपत्रों को लेकर विपक्ष के सदस्यों ने गर्भगृह पहुंचकर गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू के खिलाफ नारेबाजी की थी। हालांकि उन सभी विधायकों को निलंबित कर दिया गया है।

ऐसी परिस्थिति क्यों पैदा हुई- चंद्राकर

श्री चंद्राकर ने युवाओं के प्रदर्शन को लेकर कहा कि, पुलिस ने संयम से कार्यवाही की है...तो ये परिस्थिति कैसे पैदा हुई कैसे ? दरअसल, प्रदर्शन कर रहे युवाओं ने आरक्षित वर्ग के जनप्रतिनिधियों से मामले में चुप्पी तोड़ने की मांग की है। पुलिस ने इस मामले में 29 प्रदर्शनकारी युवाओं को गिरफ्तार किया है। सभी पर आईटी एक्ट के तहत कार्रवाई की है।

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