मरचुरी से परिजनों ने नहीं उठाई लाश, दिनभर फैक्ट्री पर लगा रहा मजमा

सरोरा स्थित सार्थक इस्पॉत फैक्ट्री में गैसी फायर में ब्लॉस्ट से मृत मजदूर पवन साहू के परिजन और फैक्ट्री प्रबंधन के बीच टकराव बढ़ गया है। बुधवार को पोस्टमार्टम के बाद भी परिजनों ने मरचुरी से उसकी लाश नहीं उठाई और 20 लाख रुपए मुआवजे की मांग को लेकर दिनभर फैक्ट्री के बाहर जमे रहे।;

Update: 2021-03-24 19:01 GMT

सरोरा स्थित सार्थक इस्पॉत फैक्ट्री में गैसी फायर में ब्लॉस्ट से मृत मजदूर पवन साहू के परिजन और फैक्ट्री प्रबंधन के बीच टकराव बढ़ गया है। बुधवार को पोस्टमार्टम के बाद भी परिजनों ने मरचुरी से उसकी लाश नहीं उठाई और 20 लाख रुपए मुआवजे की मांग को लेकर दिनभर फैक्ट्री के बाहर जमे रहे।

फैक्ट्री प्रबंधन मृतक के परिवार को दो लाख रुपए और घायलों के इलाज का पूरा खर्च देने को तैयार था लेकिन परिजन व कुछ राजनीतिक संगठन के लोग पूरा मुआवजा मिलने के बाद लाश उठाने की बात पर अड़े रहे। इधर, सभी घायलों का आंबेडकर अस्पताल में इलाज जारी है। इनमें दो मजदूरों की हालत गंभीर बताई जा रही है।

ये मजदूर कर रहे थे काम

गौरतलब है कि सरोरा स्थित सार्थक इस्पॉत रोलिंग मिल में लोहा गलाने के लिए कोयला जलाकर गैस तैयार की जा रही थी। वहां कबीरनगर अटल आवास निवासी पवन कुमार साहू, सुनील, छत्रपाल, रामरतन, बैशाखी, बिसाहू लाल, शिवचरण और राज किशोर ड्यूटी पर थे। अचानक गैसी फायर में ब्लॉस्ट होने से सात घायल हो गए और पवन की मौके पर ही मौत हो गई थी।

फैक्ट्री प्रबंधन पर केस दर्ज

पुलिस के मुताबिक सार्थक इस्पात में हादसे के बाद बालेंद्र पांडेय निवासी गोगांव सीतानगर ने फैक्ट्री प्रबंधन के खिलाफ लापरवाही की शिकायत की थी। इसके बाद फैक्ट्री प्रबंधन के खिलाफ धारा 287, 337 और 304ए के तहत केस दर्ज किया गया है।

मजदूरों की करेंगे मदद

छत्तीसगढ़ स्टील रि-रोलर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष मनोज अग्रवाल का कहना है कि सार्थक फैक्ट्री में हादसे में घायल और मृत मजदूरों के परिवार से उनकी सहानभूति है। उनकी फैक्ट्री प्रबंधन की तरफ से मदद भी की जा रही है। साथ ही ईएसआई, पीए और जनरल इंश्योरेंश से भी उन्हें मदद मिलेगी। कुछ असामजिक तत्वों द्वारा मजदूरों के परिजनों को उकसा कर जबरन पैसे के लिए ब्लैकमेल किया जा रहा है जिससे उद्योगपति भयभीत हैं।

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