सुख, समृद्धि की कामना के संग कई त्यौहार साथ लेकर आती है दीपावली

दीपावली का त्यौहार संपूर्ण भारत में मनाया जाने वाला ऐसा त्यौहार है। जिसकी तैयारियों में लोग महीनों पहले जुट जाते हैं। दीपावली को पर्व उत्सव के नाम से भी जाना जाता है। कहा जाता है कि लंका विजय के बाद जब भगवान राम अयोध्या वापस आए तो लोगों ने उनके स्वागत में घी के दीये जलाए थे। जिससे अमावस्या की काली रात भी जगमगा उठी थी।
हिन्दुओं का खास त्यौहार
दीपावली का त्यौहार हिन्दुओं का खास त्यौहार है। यह त्यौहार जब आता है तो अपने साथ अनेकों छोटे-बड़े त्यौहार साथ लेकर आता है। इस दौरान मानों त्यौहारों की बाढ़ सी आ जाती है। यह त्यौहार सुख समृद्धि की कामना के लिए मनाया जाता है। इस त्यौहार पर सुख और समृद्धि की कामना के लिए धन की देवी माता लक्ष्मी का पूजन किया जाता है। हिन्दु परिवारों के लोग सामूहिक रूप से इस दौरान लक्ष्मी पूजन में सम्मिलित होते हैं। इस दौरान लोग अपने पितरों का पूजन भी करते हैं।
महत्वपूर्ण त्यौहार है दीपावली
इस दौरान दीपदान, धनतेरस, गोवर्धन पूजा, भैया दूज आदि त्यौहार दीपावली के साथ ही मनाये जाते हैं। सांस्कृतिक, सामाजिक, धार्मिक, आर्थिक हर लिहाज से दीपावली बहुत ही महत्वपूर्ण त्यौहार है। वर्तमान समय में इस त्यौहार ने धार्मिक भेदभाव को भी भुला दिया है और सभी धर्मों के लोग इसे अपने-अपने तरीके से मनाने लगे हैं। हालांकि पूरी दुनिया में दीपावली से मिलते जुलते त्यौहार अलग-अलग नामों से मनाये जाते हैं लेकिन भारतवर्ष में विशेषकर हिंदूओं में दीपावली का त्यौहार बहुत मायने रखता है।
दीपावली पर माता लक्ष्मी का पूजन
दीपावली के दिन को माता लक्ष्मी की कृपा पाने के लिए बहुत ही शुभ माना जाता है। घर-परिवार में सुख-समृद्धि की कृपा बनी रहे और मां लक्ष्मी घर में निवास करें इसके लिए दिनभर माता लक्ष्मी का उपवास रखने के उपरांत सूर्यास्त के पश्चात प्रदोष काल के दौरान स्थिर लग्न (वृषभ लग्न को स्थिर लग्न माना जाता है) में माता लक्ष्मी का पूजन करने का विधान बताया गया है। माता लक्ष्मी के पूजन के लिए लग्न व मुहूर्त का समय स्थान के अनुसार ही होना चाहिए।
दीपावली के त्यौहार की तिथि व शुभ मुहूर्त
दीपावली 14 नवंबर 2020 को मनाई जाएगी, माता लक्ष्मी के पूजन का शुभ मुहूर्त शाम 17:28 बजे से 19:23 बजे तक है। इस दौरान 17:23 बजे से 20:04 बजे तक प्रदोष काल रहेगा। और ज्योतिष के अनुसार 17:28 बजे से 19:23 बजे तक वृषभ काल रहेगा। अमावस्या तिथि का आरंभ 14 नवंबर 2020 को दोपहर 14:17 बजे से होगा। और 15 नवंबर 2020 को सुबह 10:36 बजे पर अमावस्या तिथि का समापन होगा।
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