Dhanteras 2020 : धनतेरस पर जानिए अपने शहर में पूजा का शुभ मुहूर्त, खरीदारी के लिए भी यह है सबसे ज्यादा शुभ समय

Dhanteras 2020 : धनतेरस पर जानिए अपने शहर में पूजा का शुभ मुहूर्त, खरीदारी के लिए भी यह है सबसे ज्यादा शुभ समय
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Dhanteras 2020 : धनतेरस (Dhanteras) की शुरुआत धनतेरस से ही मानी जाती है। इस दिन भगवान धनंवतरी की पूजा विधान है। लेकिन क्या आप जानते हैं कि आपके शहर में पूजा का शुभ मुहूर्त क्या। अगर नहीं तो आज हम आपको बताएंगे आपके शहर में धनतेरस की पूजा का शुभ मुहूर्त (Dhanteras Ki Puja Ka Shubh Muhurat)

Dhanteras 2020 : धनतेरस 13 नवंबर 2020 (Dhanteras 13 November 2020) को मनाई जाएगी। इस दिन भगवान धनवंतरी के साथ ही माता लक्ष्मी और भगवान कुबेर की पूजा (Goddess Laxmi And Lord Kuber Puja) की जाती है। माना जाता है कि इस दिन लक्ष्मी जी और कुबेर भगवान की पूजा करने से जीवन में धन की कोई कमीं नही रहती है।लेकिन यह पूजा आपको धनतेरस के शुभ मुहूर्त पर ही करनी चाहिए और इसके लिए आपको अपने शहर में पूजा का शुभ मुहूर्त अवश्य जान लेना चाहिए तो आइए जानते हैं धनतेरस पर पूजा और खरीदारी का शुभ मुहूर्त

भारत के सभी शहरों में धनतेरस की पूजा का शुभ मुहूर्त (Dhanteras Puja Shubh Muhurat In All Cities Of India)

नई दिल्ली - शाम 5 बजकर 28 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

पुणे - शाम 05 बजकर 57 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

चेन्नई-शाम 05 बजकर 40 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

जयपुर - शाम 05 बजकर 37 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

हैदराबाद - शाम 05 बजकर 41 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

गुरुग्राम - शाम 05 बजकर 29 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

चण्डीगढ़ - शाम 05 बजकर 30 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

कोलकाता - शाम 4 बजकर 58 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

मुम्बई - शाम 6 बजकर 1 मिनट से रात 8 बजकर 34 मिनट तक

बेंगलूरु - शाम 05 बजकर 50 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

अहमदाबाद - शाम 05 बजकर 56 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

नोएडा - शाम 05 बजकर 32 मिनट से शाम 5 बजकर 59 मिनट तक

धनतेरस पर क्यों की जाती है खरीदारी (Dhanteras Per Kyu Ki Jati Hai Kharidari)

हिंदू धर्म में धनतेरस को विशेष महत्व दिया जाता है। धनतेरस के दिन से ही भगवान भगवान गणेश , मां लक्ष्मी और कुबेर की पूजा शुरू हो जाती है और यह पूजा दीवाली तक चलती है। मान्यताओं के अनुसार धनतेरस के दिन नई चीजें घर में लाने से घर में मां लक्ष्मी और कुबेर का वास होता है और घर में कभी भी पैसों की कमीं नहीं होती ।

धनतेरस के दिन सोना, चांदी, पीतल और धातुओं के बर्तन आदि खरीदने से उन्नति के सभी रास्ते अपने आप खुल जाते हैं। धनवंतरी जिस समय समुद्र मंथन से प्रकट हुए थे । उस समय उनके हाथ में पीतल का अमृत कलश था । इसलिए इस दिन पीतल के बर्तन भी खरीदे जाते हैं। धनतेरस को राष्ट्रीय आयुर्वेद दिवस के रूप में भी मनाया जाता है।

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