karwa chauth 2021: करवा चौथ पर जानें सुहागन के लिए सौलह श्रृंगार और उसका महत्व

karwa chauth 2021: करवा चौथ पर जानें सुहागन के लिए सौलह श्रृंगार और उसका महत्व
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karwa chauth 2021: सौलह श्रृंगार के साथ किया जाने वाला व्रत करवा चौथ 24 अक्टूबर 2021 को है। इस दिन सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और उत्तम स्वास्थ्य के लिए व्रत रखती हैं। यह त्यौहार बहुत धूमधाम से मनाया जाता है। इस दिन महिलाएं सोलह श्रृंगार करती हैं और दुल्हन की तरह सजती और संवरती हैं।

karwa chauth 2021: सौलह श्रृंगार के साथ किया जाने वाला व्रत करवा चौथ 24 अक्टूबर 2021 को है। इस दिन सुहागिन महिलाएं अपने पति की लंबी उम्र और उत्तम स्वास्थ्य के लिए व्रत रखती हैं। यह त्यौहार बहुत धूमधाम से मनाया जाता है। इस दिन महिलाएं सोलह श्रृंगार करती हैं और दुल्हन की तरह सजती और संवरती हैं। करवा चौथ व्रत के लिए महिलाएं कई दिन पहले से तैयारियां करना शुरू कर देती हैं। करवा चौथ के दिन महिलाएं सज संवरकर चंद्रमा की पूजा करती हैं। वहीं करवा चौथ के दिन सोलह श्रृंगार का विशेष महत्व होता है। इस दिन महिलाओं को सोलह श्रृंगार करके ही पूजा करना अनिवार्य रूप से बताया गया है। सोलह श्रृंगार में महिलाओं को कुछ चीजें ही याद रह जाती हैं। इनमें मेंहदी, चूड़िया, मांग टीका के अलावा और भी चीजों को हैं। इसलिए आइए आज जानते हैं सौलह श्रृंगार और उसके महत्व के बारे में...

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करवा चौथ 16 श्रृंगार और उसका महत्व

करवा चौथ का श्रृंगारमहत्व

लाल साड़ी

लाल रंग के वस्त्र और लाल साड़ी सबसे महत्वपूर्ण श्रृंगार में गिने जाते हैं।

सिंदूर

माथे पर सिंदूर पति की लंबी उम्र की निशानी माना जाता है।

मंगलसूत्र

मंगलसूत्र महिला के सुहागन होने का सूचक है। विवाह संपन्न के बाद महिलाएं मंगलसूत्र धारण करती हैं।

मांग टीका

मांग टीका वैसे तो आभूषण है लेकिन इसे भी सोलह में शामिल किया गया है।

बिंदिया

माथे पर लगी बिंदिया भी सुहागन स्त्री के सोलह श्रृंगार में शामिल है।

काजल

काजल काली और बुरी नजर लगने से बचाने के लिए लगाया जाता है।

नथनी

नाक में पहनी जाने वाली नथनी या नॉज पिन के बिना सुहागन महिला का सोलह श्रृंगार अधूरा ही माना जाता है।

कर्णफूल

कानों के कुंडल भी सोलह श्रृंगार में गिने जाते हैं और यह सुहागन की सुन्दरता में चार चांद लगाते हैं।

मेंहदी

करवा चौथ पर हाथों में मेहंदी जरूर लगानी चाहिए। महिलाओं को पैरों में भी मेहंदी लगवानी चाहिए।

कंगन या चूड़ी

हाथों में लाल और हरी चूड़ियां भी सोलह श्रृंगार में शामिल हैं।

बिछिया

दोनों पांवों की बीच की तीन उंगलियो में सुहागन स्त्रियां बिछिया पहनती हैं।

पायल

घर की लक्ष्मी के लिए पैरों में पायल को पहनना बेहद शुभ माना जाता है।

कमरबंद या तगड़ी

सुहागन के सोलह श्रृंगार में शामिल है।

अंगूठी

अंगूठी को भी सुहाग के लिए महत्वपूर्ण माना जाता है।

बाजूबंद

बाजूबंद वैसे तो आभूषण है लेकिन इसे भी सोलह में शामिल किया गया है।

अलता

करवा चौथ के दिन महिलाओं के पैरों में लगा हुआ उनकी खूबसूती में चार चांद लगाता है और यह महिलाओं के श्रृंगार में प्रमुख है।

(Disclaimer: इस स्टोरी में दी गई सूचनाएं सामान्य मान्यताओं पर आधारित हैं। Haribhoomi।com इनकी पुष्टि नहीं करता है। इन तथ्यों को अमल में लाने से पहले संबधित विशेषज्ञ से संपर्क करें)

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