हस्तरेखा शास्त्र: अनामिका अंगुली के चिन्हों से जानें लोगों का व्यक्तित्व

अनामिका अंगुली को रिंग फिंगर भी कहा जाता है। रिंग फिंगर की क्या विशेषताएं हैं। रिंग फिंगर में कौन-कौन से चिन्ह होने से क्या-क्या लाभ होते हैं। और किस चिन्ह से क्या नुकसान होते हैं। इस विषय में आइए आप भी जानें।
सबसे पहले यह जानना आवश्यक है कि अनामिका अंगुली किन-किन चीजों की घोतक होती है। अनामिका अंगुली कर्म, कर्म का परिणाम, मान-प्रतिष्ठा, साहित्य, कला, चमक-धमक, लोगों को दिखावा करना या उत्साह, आपके अंदर किसी भी कर्म को करने के लिए कितना उत्साह है। इन चीजों का घोतक होता है।
अनामिका अंगुली की लंबाई अगर सामान्य अंगुलियों से ज्यादा हो तो ऐसा जातक सफल तथा अनेक विषयों में दक्ष होता है। ऐसा जातक धनी और यशस्वी भी होता है। ऐसा जातक जो अपने मन में सोचता है वैसा ही करता है। यानि कि ये लोग जैसा अपने जीवन में चाहते हैं, वैसी ही तरक्की करते हैं।
अगर अनामिका अंगुली थोड़ी सी टेड़ी हो तो ऐसे व्यक्ति को जीवन में समय-समय पर अपमान झेलने पड़ते हैं। ऐसे व्यक्ति को कभी-कभी बिना बात के भी अपमान झेलना पड़ता है। कई बार जो काम उन्होंने किया ही नहीं उसके लिए भी उन्हें अपमानित होना पड़ता है।
अगर अनामिका अंगुली नकुली हो और बहुत सुन्दर शेफ में हो तो ऐसे जातक कला प्रेमी, साहित्यकार, नाट्यकार और प्रकृति प्रेमी होते हैं।
इसी प्रकार अगर अनामिका अंगुली मध्यमा अंगुली बराबर लंबी हो तो ऐसा जातक भाग्यवान होता है, धनी होता है और जीवन में इतना पैसा उपार्जित करता है कि उसकी सात पीढ़ियां बैठकर खा सकती हैं। ऐसे जातक काफी उच्च कोटि के बिजनेस मैंन भी होते हैं। ये लोग एक प्रकार से पैसा बनाने की मशीन होते हैं। और बहुत कम उम्र से ही ये लोग पैसा कमाना शुरू कर देते हैं।
अगर अनामिका अंगुली की लंबाई तर्जनी अंगुली से कम हो तो व्यक्ति में उत्साह कम होता है। ऐसे लोग बहुत शांत स्वभाव के होते हैं, ऐसे लोग काफी एकाकी रहना चाहते हैं।
अगर अनामिका अंगली के तृतीय पर्व में कोई नक्षत्र हो तो ऐसा व्यक्ति यशस्वी और धनी होता है।
अगर अनामिका अंगुली के प्रथम पर्व पर स्टार बना हो तो ऐसा व्यक्ति प्रतिष्ठित, धनी, और यशस्वी होता है। ऐसे व्यक्ति अपने कर्मों के द्वारा दूसरों की हेल्प करके अपने आप को काफी प्रतिष्ठत बना लेते हैं। और समाज में अपने आप को काफी ऊंचा बना लेते हैं।
अगर कोई रेखा अनामिका के प्रथम पर्व तक सीधी जाए तो ऐसा व्यक्ति बहुत प्रसिद्ध होता है। ऐसा व्यक्ति काफी ख्याति कमाता है। और समाज में काफी नाम कमाता है। और उसी नाम से उनके पुश्तें रॉयल्टी खाती हैं।
अगर अनामिका अंगुली के तृतीय पर्व से कई समानांतर रेखाएं बनी हो तो ऐसा व्यक्ति बुद्धिमान, नीतिवान और शास्त्रवान होता है। यानि कि ऐसे लोग बहुत ज्यादा ज्ञानी और अनेक विषयों में स्टडी करने वाले होते हैं। और बहुत विद्वान होते हैं।
अगर अनामिका के तृतीय पर्व से कोई रेखा अनामिका के द्वितीय पर्व तक जाए तो ऐसा व्यक्ति काफी र्इमानदार होता है। और ऐसा व्यक्ति परिश्रमी होता है। और जीवन में काफी सफलता पाता है। ऐसे लोग किसी भी कार्य को पूरी ईमानदारी और शिद्दत के साथ करते हैं। और ऐसे लोग अपने जीवन में धीरे-धीरे आग बढ़ते रहते हैं।
अगर अनामिका अंगुली के प्रथम पर्व में शंक और चक्र का चिन्ह बने तो ऐसा व्यक्ति अपने जीवन में काफी ख्याति अर्जित करता है। ऐसा व्यक्ति जिस काम को करता है उस काम में अपना बहुत नाम करता है। ऐसे लोगों का गुणगान बहुत दूर-दूर तक होता है।
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