Education Budget 2019 : बाल कल्याण योजनाओं के लिए बजट बढ़ाने और बच्चों की सुरक्षा लेकर की मांग

Education Budget 2019 : बाल कल्याण योजनाओं के लिए बजट बढ़ाने और बच्चों की सुरक्षा लेकर की मांग
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Education Budget 2019: भारत की वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा कल यानी 5 जुलाई 2019 को बजट पेश किया जाएगा। बजट में बाल अधिकारों की रक्षा के लिए काम कर रहे नॉन गवर्नमेंट ऑर्गेनाइजेशन (NGO) ने सरकार से बाल कल्याण के लिए आवंटन बढ़ाने की मांग की है।

Education Budget 2019: भारत की वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा कल यानी 5 जुलाई 2019 को बजट पेश किया जाएगा। अब बजट में बाल अधिकारों की रक्षा के लिए काम कर रहे नॉन गवर्नमेंट ऑर्गेनाइजेशन (NGO) ने सरकार से बाल कल्याण के लिए आवंटन बढ़ाने की मांग की है। नॉन गवर्नमेंट ऑर्गेनाइजेशनों (NGO) कहना है कि सरकार को बजट में बच्चों की सुरक्षा लेकर विशेष ध्यान देने चाहिए और शहरी क्षेत्र से वंचित बच्चों के लिए प्राथमिकताएं तय करनी चाहिए।


चाइल्ड राइट एंड यू (क्राई) ने उन इलकों के बारे में उल्लेख किया है जिन पर सरकार को विशेष ध्यान देने और निवेश करने की आवश्यकता है। चाइल्ड राइट एंड यू ने कहा है कि तीन स्कूल शिक्षा योजनाओं जिन्हें समग्र शिक्षा अभियान में समाहित किया गया है उनके लिए प्रस्तावित और आवंटित बजट में 26 फीसदी का अंतर है।

राष्ट्रीय माध्यमिक शिक्षा अभियान (आरएमएसए) सर्व शिक्षा अभियान (एसएसए) और शिक्षक शिक्षा योजनाओ के लिए 2018-19 बजट में 34,000 करोड़ रुपए आवंटन किए गए जो सर्व शिक्षा अभियान के लिए समान वित्त वर्ष में मांगी गई राशि से भी कम है। एक अन्य बाल अधिकार एनजीओ सेव द चिल्ड्रन ने सरकार का ध्यान शहरी वंचित (भीख मांगने वाले, कूड़ा बीनने वाले, झोपड़पट्टी में रहने वाले और सेक्स वर्कर शामिल) बच्चों की ओर दिलाया है।


उसने कहा कि अधिकतर राज्यों में बच्चों पर खर्च में कमी सामाजिक सुरक्षा खर्च में गिरावट से अधिक है। एनजीओ ने कहा कि कुल खर्च में सामाजिक सुरक्षा खर्च का हिस्सा 2013-14 के 37.76 फीसदी से घटकर 2016-17 में 37.16 फीसदी पर आ गया है।

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