चुनाव आचार संहिता में ढील, अब मंत्री कर सकेंगे दौरे, समीक्षा बैठक, बुलाए जा सकेंगे टेंडर

चुनाव आचार संहिता में ढील, अब मंत्री कर सकेंगे दौरे, समीक्षा बैठक, बुलाए जा सकेंगे टेंडर
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छत्तीसगढ़ की सभी 11 सीटों पर लोकसभा चुनाव के लिए मतदान होने के बाद अब प्रदेश में लागू चुनाव आचार संहिता में आंशिक छूट मिल सकेगी।

रायपुर।छत्तीसगढ़ की सभी 11 सीटों पर लोकसभा चुनाव के लिए मतदान होने के बाद अब प्रदेश में लागू चुनाव आचार संहिता में आंशिक छूट मिल सकेगी। राज्य के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय ने इस संबंध में राज्य सरकार के सामान्य प्रशासन विभाग को पत्र जारी कर दिया है।

अब सरकार के मंत्री सरकारी कामकाज के लिए जिलों के दौरे कर सकेंगे। इसके साथ ही अब सरकारी काम के लिए निविदा बुलाई जा सकती है, उसका मूल्यांकन व कार्यआदेश भी जारी किया जा सकता है। सामान्य प्रशासन विभाग ने प्रदेशके सभी विभागों, सभी कमिश्नरों तथा कलेक्टरों को इससे अवगत कराया है।

छत्तीसगढ़ में लोकसभा की 11 सीटों के लिए तीन चरणों में चुनाव हुए हैं। पहले चरण का मतदान 11 अप्रैल, दूसरे का 18 तीसरे व अंतिम चरण का मतदान 23 अप्रैल को हो चुका है। इससे पहल ेभारत निर्वाचन आयोग ने 8 मार्च को लोकसभा चुनाव की घोषणा की थी।

इसके साथ ही छत्तीसगढ़ सहित देश भर कमें लोकसभा चुनाव की आचार संहिता प्रभावशाली हो गई थी। आचार संहिताा लागू होने के बाद से सरकारी कामकाज लगभग पूरी तरह से ठप हो गया था। केवल निर्वाचन आयेाग की सहमति से अत्यावश्यक कार्य के प्रस्तावों को मंजूरी दी गई थी। लेकिन सामान्य लेागों से संबंधित सभी काम बंद थे। इसक वजह से लोागें के काम नहीं हो पा रहे थे।

आचार संहिता में अटके थे काम

छत्तीसगढ में दिसंबर 2018 में हुए राज्य विधानसभा चुनाव के लिए अक्टूबर में लगी थी। इसके बाद नवंबर में चुनाव हुए। इस बीच आचार संहिता लागू रही। 11 दिसंबर को विधानसभा चुनाव के परिणाम आने के बाद आचार संहिता समाप्त हुई।

इसके बाद राज्य में कांग्रेस नेतृत्व वाली सरकार बनने के बाद मार्च के पहले हफ्ते से लोकसभा की आचार संहिता लागू हो गई। इस अवधि में बड़े पैमाने पर सरकारी काम काज रुक गए थे। सरकारी कार्यालायों के माघ्यम से हाने वाले सामन्य लोागें के कामकाज नहीं हो रहे थे। अभी भी लोकसभा चुनाव की आचार सं​हिता 23 मई को परिणाम आने तक लागू रहेगी। अभी केवल आंशिक छूट मिली है।

अब हो सकेंगे ये काम

चुनाव की आचार संहिता लगने के तुरंत बाद से राज्य सरकार के मंत्रियों के मंत्री के रूप में मिलने वाली सारी सुवधिओं पर अस्थायी रुप से रोक लग गई थी। लेकिन अब मंत्री जिलों के दौर कर सकेंगे तथा सरकारी कामकाज के लिए अधिकारियों के साथ दौरा करने के साथ ही समीक्षा बैठक भी ले सकेंगे।

लेकिन इसमें वे अधिकारी कर्मचारी शामिल नहं होंगे जिनकी चुनाव कार्य में ड्यूटी लगी है। समीक्षा बैठकों में ​मंत्री जिला स्तरीय अधिकारियों को बुला सकेंगे। इसके साथ ही सरकार विभाग अब निविदा बुलाई जा सकेगी। निविदाओं का मूल्यांकन करने के साथ ही कार्यादेश भी दिए जा सकेंगे। इस संबंध में राज्य के मुख्यम र्विाचन पदाधिकारी ने सामान्य प्रशसन विभाग के सचिव को भेजे पत्र में कहा है कि आयोग के निर्देशानुसर ही कार्यवाही की जाए।

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