Sanjay Dutt Birthday: उनके स्टाइल में ये डायलॉग्स बोलकर करें संजय दत्त को बर्थडे विश

बॉलीवुड के खलनायक संजय दत्त 29 जुलाई को अपना 61वां जन्मदिन सेलिब्रेट करेंगे। संजय दत्त का जन्म 29 जुलाई 1959 को हुआ। उनके पिता सुनील दत्त बॉलीवुड के मशहूर एक्टर थे, वहीं उनकी मां नरगिस भी बॉलीवुड की फेमस एक्ट्रेस रह चुकीं है। संजय दत्त 1981 से लेकर अब तक 100 से ज्यादा फिल्मों में काम कर चुके है। फैंस जितना पसंद उनकी एक्टिंग को करते है, उससे कही ज्यादा पसंद उनके डायलॉग बोलने के स्टाइल को करते है। आज हम आपको संजय दत्त के 10 मशहूर डायलॉग के बारे में बताएंगे। जिन्हें आप संजय दत्त की स्टाइल में बोलने की कोशिश करना।
'अग्निपथ' फिल्म (Agneepath)- 'तुम क्या लेकर आए थे...और क्या लेकर जाओगे?'
'मुन्नाभाई MBBS' फिल्म (Munna Bhai M.B.B.S.)- 'बॉडी में 206 टाइप का सिर्फ हड्डी है, तोड़ने के टाइम अपुन लोग सोचते थे क्या?'
'शूटआउट एट लोखंडवाला' फिल्म (Shootout at Lokhandwala)- 'तुम लोगों के भेजे में बात तो जाती नहीं है, सिर्फ गोली जाती है'
'काटे' फिल्म (Kaante)- 'सारा दिन तू भौंकेगा, या काटेगा भी?'
'खलनायक' फिल्म (Khal Nayak)- 'शराफत की किताब में मुझे खलनायक कहते हैं'
'वास्तव' फिल्म (Vaastav: The Reality)- 'असली है असली...पचास तोला, पचास तोला...कितना? पचास तोला!'
'कारतूस' फिल्म (Kartoos)- 'मेरा जुनून है सिर्फ मेरा मुल्क...मेरा हिन्दुस्तान'
'पुलिसगिरी' फिल्म (Policegiri)- 'गलत तरीके से सही काम करना मुझे आता है'
'खलनायक' फिल्म (Khal Nayak)- 'जिंदगी के हर नाटक में एक होता है नायक, और एक होता है खलनायक'
'सन ऑफ सरदार' फिल्म (Son of Sardaar)- 'बचपन की पैंट जवानी में फिट नहीं होती, और हर नो-बॉल पे फ्री-हिट नहीं होती'
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