बॉक्स ऑफिस पर धमाल मचा रही दृश्यम 2, क्लाइमेक्स ने जीता दर्शकों का दिल

बॉक्स ऑफिस पर धमाल मचा रही दृश्यम 2, क्लाइमेक्स ने जीता दर्शकों का दिल
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अजय देवगन की 'दृश्यम 2' फिल्म बॉक्स ऑफिस पर कलेक्शन के तमाम रिकॉर्ड तोड़ रही हैं। हरिभूमि की खास रिपोर्ट में बता रहे हैं कि दर्शक आखिर किस खास वजह से फिल्म की ओर खींचे चले जा रहे हैं।

Drishyam 2 Movie Exclusive: बॉक्स ऑफिस पर अजय देवगन स्टारर फिल्म 'दृश्मय 2' (Drishmay 2) कलेक्शन के तमाम रिकॉर्ड तोड़ती नजर आ रही है। बॉलीवुड की किसी फिल्म के लिए महज कमाई करना बड़ी बात नहीं होती बल्कि फिल्म की कहानी लोगों के दिलों पर राज करें, यह भी फिल्म मेकर के लिए बड़ी बात होती है। अजय देवगन (Ajay Devgn) की फिल्म भी लोगों की वाहवाही बटोरने में कामयाब होती नजर आ रही है। साल 2022 हिंदी फिल्मों के लिए बेहतर नहीं रहा, लेकिन 'दृश्यम 2' फिल्म के लिए अंतिम साल बेहद अच्छा साबित हुआ है। बात फिल्म की करें तो दर्शकों के अच्छे रिव्यू मिलने के साथ लोग अपने दोस्तों को भी मूवी देखने की सलाह दे रहे हैं। आइए जानते हैं कि आखिर फिल्म के क्लाइमेक्स में ऐसा क्या खास है, जो लोगों के बीच जबरदस्त क्रेज देखने को मिल रहा है।

विजय सलगांवकर (अजय देवगन) अपने परिवार के साथ खुशमिजाज अंदाज में जीवन बिताते हैं। 'दृश्यम 2' की पूरी कहानी अजय की लिखी फिल्म के इर्द-गिर्द घूमती नजर आती है। विजय फिल्म रिलीज से पहले कहानी की किताब भी छपवा देते हैं। बात अब उनकी फिल्म की कहानी की करें तो इसमें सबसे अहम फिल्म का क्लाइमेक्स नजर आता है। फिल्म डायरेक्टर से मुलाकात करने के बाद अजय बस क्लाइमेक्स को लेकर चिंतित नजर आते हैं। उनका कहना होता है कि हीरो अगर जेल में चला जाएगा तो फिल्म की हैप्पी एंडिंग नहीं हो पाएगी।

इस वजह से दर्शकों को पसंद आ रही फिल्म

आपका सस्पेंश खत्म करते हुए अब बता दें कि विजय जिस कहानी को लिख रहा था। वह उनके साथ हुई 2 अक्टूबर 2014 की घटना का फिल्मी प्रस्तुतीकरण है। इसमें बस अंतर इतना होता है कि विजय ने अपनी बेटी की जगह पूरी घटना को बेटे के संदर्भ में दिखाया। दर्शकों को फिल्म पसंद क्यों आ रही है। इसकी बात करें तो एक पिता का अपने परिवार और खासकर बेटी को बचाने के लिए पूरी तैयारी और समझादी के साथ निपटना करना लोगों का ध्यान खींच रहा है। अक्सर फिल्मों में आपने भी देखा होगा कि हीरो अपने परिवार को बचाने के लिए खुद जेल चला जाता है। लेकिन विजय ने अपनी बेटी को बचाने के साथ ही जेल में बगैर जाए यह जंग जीत ली।

विजय की तैयारी ने खींचा दर्शकों का ध्यान

इंटरवल के बाद फिल्म का रोचक हिस्सा शुरू होता है। विजय के परिवार से जुड़ा सात साल पुराना केस दुबारा खुलता है तो सभी को लगता हैं कि वह और उनका पूरा परिवार मुसिबत में फंसने वाला है। हालांकि, फिल्म में जो होता है वो दर्शकों की कल्पना से दूर होता है। हम सभी इस बात को जानते हैं कि सच कभी छिपाए नहीं छिपता है। लेकिन अजय देवगन की फिल्म की कहानी ने साबित कर दिया कि जब किसी झूठ को अपनो के भले के लिए छिपाया जाए तो वह 100 सच पर भी भारी पड़ता है।

क्लाइमेक्स के दौरान पता चलता है कि फिल्म की कहानी में विजय ने सात साल पुराने केस से बचने के लिए पूरी कहानी पहले ही लिख दी थी। उनकी फिल्म की कहानी लिखना और उसकी किताब छपवाना अपने परिवार को पूरे केस से बचाने का एक अहम तरीका था। हैप्पी एंडिंग के साथ फिल्म खत्म हुई और दर्शकों को अपनी बेटी के लिए विजय का त्याग बेहद पसंद आया।

पांच दिनों में पार किया 100 करोड़ का आंकड़ा

सामाजिक पहलू के तहत बात करें तो फिल्म को देखने के बाद लोग अपने पिता की छवी और त्याग को याद करने लगते हैं। शयद फिल्म की कहानी का क्लाइमेक्स ही दर्शकों को सिनेमाघरों में खींचने में कामियाब रहा है। इसी वजह से पांच दिनों के रिलीज के अंदर फिल्म ने 100 करोड़ के कलेक्शन का आंकड़ा पार कर लिया है।

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