Haryana में शराब घोटाले के बाद जागा विभाग, डिस्टलरी और गोदामों पर सीसीटीवी से नजर

चंडीगढ़। प्रदेश में वेयर हाउस शराब घोटाले (Alcohol scam) और अच्छी खासी फजीहत होने के बाद हरियाणा का आबकारी विभाग(Excise Department) जाग गया है। अब आबकारी विभाग के शराब गोदामों(Wine warehouses) के साथ-साथ डिस्टलरी पर भी सीसीटीवी कैमरों के जरिए कड़ी निगरानी (Surveillance) रहेगी। इसके लिए विभाग पहली बार कई कठोर कदम उठाने जा रहा है। आबकारी विभाग के शराब गोदाम, वेयरहाउस के साथ-साथ डिस्टलरी में तैयार होने वाले माल सभी पर नजर रखी जाएगी।
यहां पर उल्लेखनीय है कि हरियाणा मे कोरोना संक्रमण लॉकडाउन के दौरान भारी मात्रा में शराब तस्करी का मामला उजागर होने के बाद अब आबकारी महकमे की नींद खुल चुकी है। आबकारी विभाग की ओर से सभी डिस्टलरियो में सीसीटीवी कैमरे लगाने की मुहिम शुरू कर दी गई है , इस क्रम में विभाग की ओर से टेंडर प्रक्रिया पूरी की जा चुकी है। इस कैमरे के जरिए आबकारी विभाग के मुख्यालय से डिस्टलरियो की मॉनिटरिंग की जाएगी। डिस्टलरियो से निकलने वाली शराब की गाड़ियों का पूरा लेखा-जोखा मुख्यालय सेरखा जाएगा।
मुख्यालय में रखा जाएगा लेखा-जोखा
हरियाणा का आबकारी एवं कराधान विभाग प्रदेश मुख्यालय से शराब की एक-एक बोतल और बूंद-बूंद पर नजर रखेगा। नई आबकारी नीति में उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला ने नई एक्साइज पॉलिसी की घोषणा के वक्त की थी। शराब कारखानों में बनने वाली शराब की एक-एक बूंद पर अब सरकार की नजर रहेगी। शराब की गुणवत्ता कैसी है, उसमें एल्कोहल की मात्रा निर्धारित मानकों पर खरी है या नहीं जांच के लिए 'फ्लो मीटर' लगाए जाएंगे। दूसरा, शराब कारखानों से शराब की तस्करी तो नहीं हो रही, उसके लिए ट्रैक एंड ट्रेस सिस्टम भी लागू होगा। कारखाने सीसीटीवी कंट्रोल हरियाणा एक्साइज विभाग के मुख्यालय में रहेगा। इसके साथ ही शराब ठेकों पर पीओएस मशीने लगेंगी। शराब व बीयर का बिल देना अनिवार्य होगा। बिल न देने पर पांच हजार तक जुर्माने का प्रावधान भी रहेगा। जो कि पहले 500 रुपये था।
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