हरियाणा में लाकडाउन के बीच उपभोक्ताओं को बिजली निगम का झटका, बिना रीडिंग के भेज दिए बिल

हरियाणा में लाकडाउन के बीच उपभोक्ताओं को बिजली निगम का झटका, बिना रीडिंग के भेज दिए बिल
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बिना एसी चलाए गर्मियों के मौसम जैसे ज्यादा बिल देखकर उपभोक्ता परेशान हो गए हैं। औसत रीडिंग से दोगुना बिल मिल रहे हैं। उपभोक्ताओं ने निगम को शिकायतें करनी शुरू कर दी है।

हरिभूमि न्यूज:रोहतक। लाॅकडाउन की अवधि में हरियाणा बिजली वितरण निगम ने बिना मीटर रीडिंग लिए पिछली रीडिंग की औसत से बिल भेजने शुरू कर दिए हैं। बिना एसी चलाए गर्मियों के मौसम जैसे ज्यादा बिल देखकर उपभोक्ता परेशान हो गए हैं। औसत रीडिंग से दोगुना बिल मिल रहे हैं। उपभोक्ताओं ने निगम को शिकायतें करनी शुरू कर दी है। हरियाणा बिजली निगम के एक उपभोक्ता का कहना है कि उनका बिल फरवरी और मार्च में महज तीन हजार रुपये का आता है मगर इस बार यह बिल 7 हजार रुपये का भेजा गया है।

इसी तरह एक उपभोक्ता का कहना है कि उनका बिल फरवरी और मार्च में कभी 800 रुपये से ज्यादा नहीं आया लेकिन इस बार 1600 रुपये का बिल भेजा गया है। एक अन्‍य उपभोक्ता का कहना है कि उन्हें इस बार 8409 रुपये बिल भेजा गया है। यह बिल उनके अनुसार दोगुना है।कई घरों में तो तीन गुना तक बिल आए हैं। इन उपभोक्ताओं के अनुसार उन्हें उनके पंजीकृत मोबाइल फोन पर बिल संबंधी संदेश मिल रहे हैं। इससे उन्हें यह भी बताया जा रहा है कि ये औसत रीडिंग से बिल बनाए गए हैं। इन संदेश में यह भी कहा गया है कि जुर्माने से बचने के लिए बिल तय समयावधि में भरें।

चक्कर काटने के बाद भी ठीक नहीं होते बिल

बिजली उपभोक्ताओं का कहना है कि बिजली का एक बार बिल गलत आ जाए तो उसे ठीक करवाने में उनकी जूतियां घिस जाती हैं। कई चक्कर काटने के बाद भी जब बिल ठीक नहीं होते तो उपभोक्ताओं को बिजली निगम के दलालों का सहारा लेना पड़ता है। उपभोक्ताओं का कहना है कि बिजली निगम को भी लॉकडाउन अवधि के बाद मीटर रीडिंग लेकर सही बिल बनाकर भेजना चाहिए, ताकि उपभोक्ताओं को परेशानी न उठानी पड़े ।

कमर्शियल उपभोक्ता भी परेशान

कई उद्योगों के भी बिजली बिल गलत पहुंचे हैं। जबकि बिजली निगम के अधिकारी यह स्पष्ट कर चुके हैं कि घरेलू और कमर्शियल उपभोक्ताओं को ही पिछली रीडिंग की औसत के हिसाब से बिल भेजे गए हैं। 50 किलोवाट से अधिक खपत वाले उद्योगों के बिल रीडिंग के हिसाब से ही भेजे जाएंगे। जिन उद्योगों में गलती से बिजली बिल चले गए हैं, उनके बिल भरने की जरूरत नहीं है। बिजली निगम के अधिकारी यह भी कह रहे हैं कि घरेलू और उपभोक्ताओं के बिल भरने की तारीख मोबाइल संदेश में मिली तारीख के एक माह बाद की दी गई है।

औसत रीडिंग के आधार पर भेजे गए बिल

बिजली के बिल औसत रीडिंग या किलोवाट के आधार पर भेजे जा रहे है। जिन बिजली उपभोक्ताओं के बिजली के बिल गलत आ रहे है वे अपने बिजली के बिल की आॅनलाइन शिकायत या एरिया के एसडीओ के माेबाइल पर शिकायत कर सकते हैं। बिजली उपभोक्ताआें का बिल रीडिंग लेकर ठीक कर दिया जाएगा। वहीं, जिन लोगों ने बिजली का बिल भर दिए उनकी बिल भी रीडिंग के आने के बाद ठीक हो जाएंगे। -सुरेश बंसल, एसई, बिजली निगम

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