हरियाणा में जल जीवन मिशन के तहत 2022 तक हर व्यक्ति को मिलेगा पानी, केंद्र सरकार ने बनायी ये योजना

केंद्र सरकार ने 'जल जीवन मिशन' के तहत 2022 तक हरियाणा के सभी ग्रामीण परिवारों को नल से पीने का पानी उपलब्ध कराएगी, जबकि राज्य में यह लक्ष्य 2024-25 तक निर्धारित किया गया था। इस राष्ट्रीय लक्ष्य को पहले ही पूरा करने की दिशा में केंद्र सरकार और राज्य सरकार ने तैयारियों को तेज कर दिया है।
केंद्रीय जल शक्ति मंत्रालय के अनुसार केंद्र सरकार ने जल जीवन मिशन राज्यों के साथ मिलकर लागू कर रही है, ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि देश के प्रत्येक ग्रामीण परिवारों के जीवन स्तर को सुधारने के लिए उन्हें पाइप लाइन के जरिए किफायती दरों में पर्याप्त मात्रा में नियमित रूप से पीने का पानी उपलब्ध कराया जा सके। मंत्रालय के अनुसार इस मिशन के तहत हरियाणा में दिसंबर 2022 तक सभी ग्रामीण परिवारों को पाइप लाइन के जरिए नल का पानी पहुंचाने की तैयारी की जा रही है।
मंत्रालय के अनुसार राज्य ने जल जीवन मिशन (जेजेएम) के तहत 2019-20 में 1.05 लाख नल कनेक्शन उपलब्ध कराए हैं। इस तेज गति से मिशन की तैयारियों को देखते हुए अब राज्य में 2024-25 के लिए निर्धारित राष्ट्रीय लक्ष्य से पहले दिसंबर 2022 तक ग्रामीण परिवारों को 100 प्रतिशत नल कनेक्शन उपलब्ध हो जाएंगे। निर्धारित लक्ष्य से पहले ऐसा करके हरियाणा प्रत्येक ग्रामीण परिवार तक नल कनेक्शन प्रदान करने के महत्वाकांक्षी लक्ष्य को पूरा करने वाले राज्यों मे हरियाणा अग्रणी राज्य बन जाएगा।
राज्य में 18.83 लाख परिवारों को मिले कनेक्शन
केंद्रीय जल शक्ति मंत्रालय ने यह दावा राज्य के संबंधित अधिकारियों द्वारा जल जीवन मिशन के तहत हर घर तक नल से जलापूर्ति के लक्ष्य का हासिल करने के लिए पेयजल और स्वच्छता विभाग को एक कार्य योजना प्रस्तुत की है। इस कार्य योजना के तहत हरियाणा में 28.94 लाख ग्रामीण परिवारों में से 18.83 लाख परिवारों को पहले से नलों के जरिए पीने का पानी उपलब्ध कराया जा चुका है।
शेष 10.11 लाख घरों में से 2020-21 तक 7 लाख घरों में नल कनेक्शन देने की योजना है। इस कार्ययोजना का हवाला देते हुए मंत्रालय ने बताया कि मौजूदा वर्ष के दौरान हरियाणा सरकार ने एक जिले और कुल 6,987 गाँवों में से 2,898 गांवों में नल के जरिए घरों तक पीने का पानी पहुंचाने का काम सौ फीसदी पूरा करने की योजना बनाई है। इसमें सूखा संभावित क्षेत्रों और आकांक्षी जिलों पर विशेष फोकस किया गया है।
मौजूदा वित्त वर्ष के लिए जेजेएम के तहत केंद्र से मिलने वाले हिस्से के रूप में राज्य को 290 करोड़ रुपये जल्द ही जारी किये जाएंगे, जबकि इतनी ही राशि इस योजना में राज्य खर्च करेगा। मंत्रालय के अनुसार देश में कोरोना महामारी के इस कठिन समय के दौरान भी हरियाणा के ग्रामीण क्षेत्रों में घरेलू नल कनेक्शन देने के इस तरह के प्रयासों से निश्चित रूप से महिलाओं और लड़कियों के लिए जीवन सुगम बनेगा और उन्हें सुरक्षित बनाने तथा सम्मानजनक जीवन जीने में मदद दी जा सकेगी।
ग्राम पंचायत स्तर बनी समितियां
मंत्रालय के अनुसार हरियाणा में प्रत्येक ग्राम पंचायत में ग्राम स्तर पर नियोजन के लिए जीपी या उनकी उप-समिति यानी ग्राम जल और स्वच्छता समितियों का गठन किया गया है। गाँवों के लिए ग्राम कार्य योजनाएं चलाई गई हैं, जिसके आधार पर कार्य योजना को अंतिम रूप दिया गया है। मंत्रालय ने जानकारी दी कि राज्य के मुख्यमंत्री ने हाल ही में लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग (पीएचईडी) के डैशबोर्ड का शुभारंभ किया है, जिसमें गांवों, नल के कनेक्शन और वित्तीय प्रगति आदि का विवरण वास्तविक समय के आधार पर देखा जाता है।
वहीं राज्य ने 44 जल परीक्षण प्रयोगशालाओं में से चालू वर्ष के दौरान 18 प्रयोगशालाओं के लिए एनएबीएल से मान्यता प्राप्त करने की योजना बनाई है। सुधारात्मक उपाय करने के लिए पानी की गुणवत्ता के परीक्षण के लिए सामुदायिक स्तर पर फील्ड परीक्षण किट प्रदान किए जाएंगे। राज्य ने सभी 35 गुणवत्ता-प्रभावित बस्तियों में पीने का पानी उपलब्ध कराने की योजना बनाई है।
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