Knowledge News : जानिए कोतवाली, थाना और चौकी में क्या होता है अंतर, सबसे पहले कहां लगाए गुहार

आज हम आपको अपनी इस खबर में एक ऐसे विषय के बारे में बताने वाले है जिसके बारे में शायद आप में से बहुत से लोग पहले से नहीं जानते होंगे। अगर जानते भी होंगे तो उन व्यक्तियों के मन में हमेशा एक कन्फ्यूजन बना रहता होगा। जिसे आज हम दूर कर देंगे। हर इंसान के मन में पुलिस थाना (Police Station), कोतवाली और पुलिस चौकी को लेकर हमेशा एक असमंजस दिखाई देता है कि आखिर इन तीनों में अंतर क्या होता है। तो चलिए अब हम आपको इन तीनों के बीच का अंतर बताते हैं।
सबसे पहले हम आपको पुलिस चौकी के बारे में बताएंगे। आप में से बहुत से लोगों ने पुलिस चौकी देखी भी होगी और इनका नाम भी सुना होगा। कई बार आपका शहर या गांव के इलाकों से निकलते हुए वहां पर मौजूद पुलिस चौकी से आमना-सामना हुआ होगा। जिस प्रकार से किसी बड़ी कंपनी की ब्रांच अलग-अलग क्षेत्र में होती है। उसी तरह से एक पुलिस स्टेशन यानी कि पुलिस थाने के अंतर्गत आने वाली पुलिस चौकियां होती है।
पुलिस चौकी किसी थाने के अधीनस्थ कार्यालय की तरह होती है। पुलिस की चौकी पर कानून व्यवस्था को बनाए रखने और एसएचओ द्वारा निर्देशों का पालन करने के लिए बनाया हुआ एक छोटा कार्यकारी कार्यालय होता है, इसको पुलिस चौकी कहते हैं।
अब हम आपको बता देते है कि पुलिस थाना क्या होता है। पुलिस थाना आपके क्षेत्र से काफी दूरी पर होता है जहां पर शिकायत दर्ज करना, FIR करवाना जैसी कई चीजें शामिल होती हैं। थाने को इंस्पेक्टर यानी SHO द्वारा नेतृत्व किया जाता है। वहीं अगर हम अब बात करें कोतवाली की तो कोतवाली का मतलब होता है कि यह किसी गांव या दूर के इलाके में लंबे समय से मौजूद पुराना थाना है जिसे कोतवाली कहा जाता है। हम यह भी कह सकते हैं कि शहर का सबसे पुराना थाना कोतवाली कहा जाता है।
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