Diabetes: ये है डायबिटीज के शुरुआती लक्षण, इन लोगों को है सबसे ज्यादा खतरा

Diabetes Symptoms Types and Causes : आज के समय में उम्रदराज लोग ही नहीं बल्कि यंग और मिड एज वाले भी डायबिटीज के शिकार हो रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दुनिया में तकरीबन 53 करोड़ 7 लाख लोग इससे पीड़ित हैं, जिनमें करीब 7 करोड़ डायबिटीज पेशेंट भारत में हैं, जो कम होने की बजाय बढ़ते जा रहे हैं, जो चिंता का विषय है। ऐसे में आप समय रहते डायबिटीज के लक्षणों को पहचाने और हेल्दी लाइफ स्टाइल को फॉलो करें, ताकि आप इस बीमारी से बच सकें।
कब होती है डायबिटीज
विशेषज्ञ बताते हैं कि डायबिटीज एक मेटाबॉलिक डिजीज है। जब यह बीमारी होती है तो खून में इंसुलिन की कमी हो जाती है। शरीर में शुगर का स्तर सामान्य से बहुत ज्यादा हो जाता है।
डायबिटीज के प्रकार (Types of Diabetes)
1- प्री-डायबिटीज ( Pre Diabetes)
इस स्टेज में पेशेंट्स में फास्टिंग शुगर बहुत ज्यादा आती है क्योंकि इनके लिवर से रात के समय शुगर बहुत बनती है। लेकिन खाना खाने के बाद का शुगर टेस्ट नॉर्मल होता है। अगर समय पर इलाज न हो तो चार पांच साल बाद टाइप 2 डायबिटीज होने का खतरा रहता है।
ये है प्री-डायबिटीज के लक्षण
- कमजोरी का अहसास होना
-थकावट
-तनाव बहुत ज्यादा होता है।
2- टाइप 1 डायबिटीज :
आंकड़ों की माने तो कुल डायबिटीज मरीजों का तकरीबन 10 प्रतिशत टाइप 1 पीड़ित होते हैं। आनुवांशिक बीमारी होने की वजह से छोटे बच्चे और किशोरों को भी इस प्रकार की डायबिटीज हो सकती है। विशेषज्ञ बताते हैं कि वायरल फीवर के बाद, इंफेक्शन से और अनहेल्दी फूड्स से बच्चों को डायबिटीज हो सकती है।
उपचार
-इस टाइप में ब्लड शुगर को कंट्रोल करने के लिए रोजाना इंसुलिन का इंजेक्शन लेना पड़ता है।
आंकडों के अनुसार डायबिटीज के 90 प्रतिशत मरीजों को टाइप 2 बीमारी होती है। टाइप 2 डायबिटीज जहां पहले बड़ी उम्र के लोगों में देखने को मिलती थी, आज वह बच्चों और 25-30 साल के युवाओं में भी मिलती है।
यूरीन के रास्ते बाहर निकलता है शुगर
ब्लड में शुगर लेवल जब बहुत बढ़ जाता है और यूरीन के माध्यम से बाहर निकलने लगता है, इस स्थिति को इंसुलिन रेजिस्टेंस या टाइप 2 डायबिटीज कहते हैं।
डायबिटीज के कारण (Causes of Diabetes )
-डायबिटीज होने का मुख्य कारण आनुवांशिक या फैमिली हिस्ट्री हो सकता है
-आरामपरस्त जीवनशैली
-अनियमित खान-पान,
-मीठे व्यंजनों का अधिक सेवन
-फास्ट फूड का सेवन
-तनाव
-देर रात तक जागना
-नींद पूरी न होना
-वजन ज्यादा होना।
इन लोगों को होता है डायबिटीज होने का खतरा
विशेषज्ञ बताते हैं कि जिनका लोग ब्लड प्रेशर हाई रहता है, कोलेस्ट्रॉल का लेवल बढ़ा हो, स्मोकिंग या एल्कोहल का नियमित सेवन करते हैं, तो उनमें डायबिटीज का खतरा अधिक बढ़ जाता है।
ऐसे करें बचाव-सात से आठ घंटे की नींद जरूर लें
-खाना समय पर खाएं
-रेग्युलर फिजीकली एक्टिव रहें
-30 साल के बाद हर साल ग्लूकोज टेस्ट जरूर कराएं
-वजन नियंत्रित रखें
-सुबह या शाम 50 मिनट व्यायाम जरूर करें
-प्रतिदिन 7 हजार कदम चलना फायदेमंद है
-रात का खाना खाने के बाद 20-30 मिनट तक टहलें
उपचारडायबिटीज की स्थिति को जानने के लिए नियमित रूप से डॉक्टर से सलाह लेते रहना चाहिए और जरूरत पड़ने पर दवा खाते रहें।
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