बनना चाहते हैं पेरेंट्स तो ये है संबंध बनाने का सबसे बेहतरीन समय, बहुत जल्द Pregnancy हो जाएगी कंफर्म

Tips to Conceive Children: एक महिला के लिए मां बनना दुनिया की सबसे बड़ी खुशी होती है, एक बच्चे के जन्म के साथ ही एक महिला पर नयी जिम्मेदारियां आ जाती हैं। अब वह महज किसी की बेटी किसी की पत्नी या किसी की बहु नहीं रहती है, अब वह मां की भूमिका भी निभाती हैं। लेकिन किसी भी महिला के लिए मां बनना इतना आसान नहीं होता, जितना हमे लगता है। उन्हें फ्यूचर की प्लानिंग (Future Planning) करनी होती है, अपने घर के साथ-साथ अपने बच्चे की जरूरतों को भी पूरा करना होता है। मां बनना दुनिया का सबसे खूबसूरत अहसास होता है, लेकिन इस एहसास के लिए लोगों को बहुत मेहनत और इन्तजार (How To Women get Pregnant) करना पड़ता है।
प्रेगनेंसी से पहले करनी होती है प्लानिंग
कई बार ऐसा होता है कि आप प्रेगनेंसी के लिए ट्राई कर (Pregnancy ke liye konsa samay shi hai) रही होती हैं, लेकिन इसका कोई परिणाम नहीं निकलता है। वहीं कई बार आपको एकदम से शॉक लगता है कि आप प्रेग्नेंट हैं। खैर, आज की इस खबर में हम आपको बताएंगे की आपको किस समय अपने परिवार को आगे बढ़ाने के लिए ट्राई करना चाहिए। जिससे आपके प्रेगनेंसी के चांसेस बढ़ जाएंगे, इसके साथ ही हम आपको बताएंगे कि आपको कब और कैसे प्रेग्नेंसी टेस्ट (Pregnancy Test) करना चाहिए।
मां बनने के लिए यह समय होता है बिल्कुल परफेक्ट
अगर आप मां बनने के लिए ट्राई कर रही हैं तो इसके लिए ओव्यूलेशन की अवधि से बेहतर समय कोई हो ही नहीं सकता है। बता दें कि महिला के अंडाशय (Ovary) से अंडे के बाहर निकलने की प्रोसेस को ओव्ल्यूलेशन (ovulation) कहा जाता है। ये समय पीरियड्स (Periods) के दो हफ्ते पहले का होता है, ऐसे में अगर आप प्रेगनेंसी के लिए ट्राई करेंगे तो आपके मां बनने के चांसेस बढ़ जाते हैं। ओव्ल्यूलेशन पीरियड (ovulation period) के दौरान अंडा महिलाओं के फलोपियन ट्यूब (fallopian tube) स्पर्म (sperm) से मिलकर फर्टिलाइज होने का इन्तजार कर रहा होता है।
बिना किसी प्रोटेक्शन के बनाएं संबंध
ओव्ल्यूलेशन पीरियड के दौरान अगर आप कंडोम या किसी तरह के प्रोटेक्शन का इस्तेमाल किए बिना संबंद्ध बनाते हैं तो आपके प्रेग्नेंट होने के चांसेस बहुत ज्यादा बढ़ जाएंगे। बता दें कि इस समय में स्पर्म से अण्डों के फर्टिलाइज होने की प्रक्रिया भी तेज हो जाती है, ओव्यूलेशन के दौरान महिला का एग 12 से 24 घंटे तक फर्टिलाइजेशन (Fertilization Process) के लिए तैयार रहता है। वहीं अगर बात करें स्पर्म की तो महिला के शरीर में पुरुष का स्पर्म तीन से पांच दिन तक जीवित रहता है। इसलिए अगर आप अपनी परिवार को आगे बढ़ाना चाहते हैं तो ओव्ल्यूलेशन पीरियड आपके लिए बिल्कुल परफेक्ट समय है।
कब करें प्रेगनेंसी टेस्ट और कितनी सेफ है प्रेगनेंसी किट?
प्रेगनेंसी की जांच करने के लिए आप डॉक्टर के पास तो जाते ही हैं, लेकिन इससे पहले आप घर पर भी टेस्ट करते हैं। प्रेगनेंसी की जांच चाहे किसी भी तरह से की जाए इसमें कोरियोनिक गोनाडोट्रोपिन (HCG) हार्मोन के लेवल की जांच की जाती है, इसे प्रेग्नेंसी हार्मोन (Pregnancy Hormone) कहा जाता है। गर्भावस्था के शुरूआती 2 से 3 महीनों में इस हार्मोन का लेवल तेजी से बढ़ जाता है, बाद में इसकी गति कम हो जाती है। लेकिन यह हार्मोन 9 महीने के अंतराल में महिलाओं के शरीर में मौजूद रहता है।
अगर आप होम प्रेगनेंसी किट (Pregnancy Kit) की सत्यता पर भरोसा करने में कतराते हैं तो हम आपको बता दें कि किट बनाने वकाली कंपनियां यह दावा करती हैं कि उनका प्रोडक्ट 99 परसेंट सही रिजल्ट बताता है। वैसे तो आप डॉक्टर से भी प्रेगनेंसी टेस्ट (Pregnancy Test) करवा सकते हैं जिसमें वह आपका ब्लड टेस्ट करेंगे, लेकिन आजकल महिलायें प्रेगनेंसी किट का ही इस्तेमाल ज्यादा करती हैं। यह सुविधाजनक भी होता है और मेडिकल स्टोर्स पर आसानी से मिल भी जाता है।
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