तेंदुपत्ता संग्राहकों को नकद भुगतान, सरकार ने जारी किया आदेश

तेंदुपत्ता संग्राहकों को नकद भुगतान, सरकार ने जारी किया आदेश
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छत्तीसगढ़ के तेंदूपत्ता संग्राहकों को नकद भुगतान किया जाएगा। इस संबंध में वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के प्रमुख सचिव मनोज पिंगुआ ने आदेश जारी कर दिया है। यह आदेश राज्य के तेंदूपत्ता संग्रहण वाले जिलों के कलेक्टरों को भेजा गया है। इसमें नारायणपुर, कांकेर, सुकमा, एवं बीजापुर जिले शामिल हैं।

छत्तीसगढ़ के तेंदूपत्ता संग्राहकों को नकद भुगतान किया जाएगा। इस संबंध में वन एवं जलवायु परिवर्तन विभाग के प्रमुख सचिव मनोज पिंगुआ ने आदेश जारी कर दिया है। यह आदेश राज्य के तेंदूपत्ता संग्रहण वाले जिलों के कलेक्टरों को भेजा गया है। इसमें नारायणपुर, कांकेर, सुकमा, एवं बीजापुर जिले शामिल हैं। इसके साथ ही वन मंडलाधिकारी एवं प्रबंध संचालक जिला वनोपज सहकारी यूनियन मर्यादित जो इन्हीं जिलों से संबंधित हैं, उनके लिए भी यह आदेश होगा।

कोरोना संकट के बीच राहत

प्रमुख सचिव श्री पिंगुआ द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि कोविड संक्रमण के वर्तमान फैलाव के कारण संग्राहकों को बैंक आने जाने से संक्रमण का खतरा हो सकता है। इसके साथ ही लॉकडाउन के कारण बैंक भी नागरिकों के लिए नहीं खुले हैं। इस स्थिति को ध्यान में रखते हुए तेंदूपत्ता संग्रहण वर्ष 2021 के लिए तेंदूपत्ता पारिश्रमिक की राशि नकद रूप में भुगतान की अनुमति प्रदान की जाती है।

संग्रहण पारिश्रमिक का नकद भुगतान जिला कलेक्टर अपने पर्यवेक्षण एवं मार्गदर्शन में पूरी पारदर्शिता के साथ करें। माना जा रहा है कि सरकार के इस निर्णय से प्रदेश के दूर-दराज के इन जिलों के तेंदूपत्ता संग्राहकों को बड़ी राहत मिलेगी। दरअसल व्यवस्था ये है कि इन संग्राहकों को पारिश्रमिक का भुगतान उनके बैंक खातों में होता है, लेकिन बस्तर संभाग के इन जिलों में बैंकों की शाखाएं कम हैं। जहां हैं भी वहां फिलहाल बैंक से भुगतान नहीं हो पा रहा है।

668 करोड़ रुपए पारिश्रमिक होगा भुगतान

छत्तीसगढ़ में चालू वर्ष 2021 के दौरान तेंदूपत्ता संग्रहण का कार्य शुरू हो गया है। राज्य में चालू वर्ष के दौरान 16 लाख 71 हजार मानक बोरा तेंदूपत्ता के संग्रहण का लक्ष्य है। राज्य में तेंदूपत्ता संग्रहण कार्य के सुचारू संचालन के लिए सभी आवश्यक तैयारियां पूर्ण कर संग्रहण शुरू कर दिया गया है। छत्तीसगढ़ में वर्ष 2021 में तेन्दूपत्ता संग्रहण दर 4 हजार रुपए प्रति मानक बोरा निर्धारित की गई है। राज्य में तेंदूपत्ता संग्रहण कार्य से लगभग 13 लाख आदिवासी-वनवासी संग्राहक परिवारों को सीधा-सीधा लाभ मिलेगा और इसके संग्रहणकाल मई तथा जून में दो माह के भीतर संग्राहकों को 668 करोड़ रुपए की राशि के संग्रहण पारिश्रमिक का वितरण किया जाना है।



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