CG NEWS : बच्चों सावधान...टीवी-मोबाइल से बिगड़ रही आंखों की सेहत अब स्कूलों में "आई एक्सरसाइज"

- पिछले साल 38 हजार, इस बार पांच महीने में तीन हजार बच्चों को चश्मा
- ट्रीटमेंट के पहले प्रिवेंशन पर जोर, स्वास्थ्य विभाग ने तैयार की योजना
रायपुर। जरूरत से ज्यादा टीवी (TV) और मोबाइल (mobile)का उपयोग लोगों की नजरें कमजोर कर रही हैं। खासकर बच्चों की आंखों की सेहत इससे बच्चों की है। जांच अभियान के दौरान पिछले साल 38 हजार स्कूली (school) बच्चों (children)को चश्मे बांटे गए थे और इस बार पांच महीने में आंकड़ा तीन हजार तक पहुंच गया है। नजर कमजोर होने पर इलाज और चश्मे का उपयोग के बजाए पहले सुरक्षा पर जोर देते हुए स्कूलों की पीटी क्लासेस (PT classes) में आई एक्सरसाइज (exercises)को शामिल करने की तैयारी की जा रही है। गौरतलब है, स्वास्थ्य विभाग के आला अधिकारियों की बैठक में कम उम्र में बढ़ती आंखों की समस्या पर चिंता उभर कर सामने आई थी। इसके लिए पढ़ाई के अत्याधिक दबाव, मोबाइल और टीवी के ज्यादा उपयोग को प्रमुख वजह माना गया ।
इसे ध्यान में रखते हुए बच्चों को स्कूलों में मोबाइल के अधिक उपयोग के दुष्प्रभाव तथा नजर कमजोर होने से आने वाली समस्याओं को समझाने के साथ आंखों को तंदुरुस्त रखने के लिए व्यायाम कराने और सिखाने की योजना बनाई जा रही है। इस योजना को स्थानीय स्तर पर सहमति दे दी गई है और प्रस्ताव की स्वीकृति के लिए योजना राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन दिल्ली को भेजने की तैयारी की जा रही है। योजना स्वीकृत होने के बाद कुछ और औपचारिकताएं पूरी करने के बाद इसे स्कूल शिक्षा विभाग की मदद से लागू किया जाएगा। स्कूलों में सप्ताह में एक दिन होने वाली पीटी क्लासेस में योगाभ्यास के साथ आंखों की कसरत सिखाई जाएगी। इसे स्कूल जाएगा। के साथ घरों में नियमित रूप से करने पर जोर दिया।
35 हजार का लक्ष्य
स्वास्थ्य विभाग द्वारा राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम के तहत हर साल स्कूलों में जाकर बच्चों की आंखों की जांच की जाती है। इस दौरान नजर कमजोर होने वाले बच्चों को दवा का उपयोग करने की सलाह दी जाती है और ज्यादा समस्या वालों को निःशुल्क चश्मा वितरित किया जाता है। पिछली बार विभागीय स्तर पर लक्ष्य से ज्यादा चश्मे का वितरण किया गया था। इस बार लक्ष्य 35 हजार चश्मा वितरण का रखा गया है।
पुडुचेरी में होगी ट्रेनिंग
आंखों को स्वस्थ रखने के लिए आवश्यक एक्सरसाइज के बारे में जानकारी के लिए राज्य में नेत्र सहायक अधिकारियों को आप्थलमेटिक ट्रेनिंग पुडुचेरी के एक नेत्र चिकित्सालय संस्थान में दी जाएगी। नेत्र सहायक स्कूलों में जाकर बच्चों के साथ पीटी टीचर को इसके बारे में बताकर इसे स्कूलों की पीटी क्लास में नियमित रूप से लागू कराएंगे।
स्क्रीन टाइम कम करने की जरूरत

चिकित्सकों के मुताबिक ज्यादातर लोगों का समय | मोबाइल, टीवी अथवा कंप्यूटर के साथ गुजरता है। इसका ज्यादा उपयोग आंखों पर दुष्प्रभाव डालता है। लोगों को चाहिए आधे घंटे स्क्रीन टाइम बिताने के बाद कम से कम तीन मिनट आंखों को आराम देना चाहिए। खेलकूद के बजाए बच्चे टीवी और मोबाइल पर गेम खेलकर अपना समय बिताते हैं।
बनाई गई योजना
अंधत्व निवारण कार्यक्रम के संचालक डॉ. सुभाष मिश्रा ने बताया कि, उपचार के बजाए सुरक्षा पर जोर देते हुए स्कूलों में पीटी क्लास में आई एक्सरसाइज की योजना बनाई गई है। योजना की स्वीकृति के बाद ट्रेनिंग तथा अन्य प्रक्रिया पूरी कर इसे लागू किया जाएगा।
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