CG Election : कौन सा चिन्ह चाहिए ... फूलगोभी,हरी मिर्च, अदरक या कटहल ?

- आयोग ने तय किए 198 चुनाव चिन्ह, अपनी पसंद से ले सकेंगे निर्दलीय
रायपुर | छत्तीसगढ़ के विधानसभा चुनाव (assembly elections)में नामांकन भरने का काम पूरा हो गया है। निर्दलीय प्रत्याशियों (independent candidates) के लिए फूलगोभी, हरी मिर्च, कटहल, मूंगफली, अंगूर, अदरक और कड़ाही सहित 198 चुनाव चिन्ह चुनाव आयोग(Election Commission)ने निर्धारित किए हैं। विधानसभा चुनाव में चुनाव चिन्ह की भूमिका काफी अहम होती है। चुनाव चिन्ह के आगे बटन दबाकर ही हम किसी भी प्रत्याशी को वोट देते हैं। राष्ट्रीय पार्टियां हों या छोटी पार्टियां या फिर निर्दलीय प्रत्याशी, सभी को एक चुनाव चिन्ह दिया जाता है। रजिस्टर्ड पार्टियों को जहां पहले से सिंबॉल मिला होता है, तो वहीं निर्दलीय उम्मीदवारों को नामांकन प्रक्रिया पूरा होने के बाद चुनाव चिन्ह मिल जाता है, लेकिन इसे लेने के लिए भी काफी जद्दोजहद करनी पड़ती है।
निर्वाचन आयोग ने जयपुर के आइडियल काटेज इंडस्ट्रीज द्वारा तय किए गए सिंबॉल को चुनाव चिन्ह के रूप में प्रयोग करने की मान्यता दी है। आयोग द्वारा जारी चुनाव चिन्ह में से ही प्रत्याशियों को चुनाव में चिन्ह का आबंटन किया जाता है। चुनाव आयोग ने लोकसभा और विधानसभा चुनावों के लिए चुनाव चिन्ह तय किए हैं। आयोग ने राष्ट्रीय पार्टियों के लिए आठ चुनाव चिन्ह अधिकृत किए हैं। इनमें तृणमूल कांग्रेस, भाजपा, कांग्रेस, बहुजन समाजवादी पार्टी, सीपीआई एम, सीपीएम, एनसीपी और आप पार्टी शामिल है। इसके अलावा आयोग द्वारा राज्य से पंजीकृत पार्टियों के लिए चुनाव चिन्ह तय किए गए हैं। छत्तीसगढ़ में जनता कांग्रेस छत्तीसगढ़ जे एकमात्र राज्य पार्टी के रूप में अधिकृत हैं। यहां पर अधिकतर पार्टियां आयोग द्वारा मान्यता प्राप्त हैं, लेकिन उन्हें निर्दलियों को दिया जाने वाला चुनाव चिन्ह ही दिया जाता है।
निर्दलियों के लिए 198 चुनाव चिन्ह
आयोग द्वारा अधिकृत सूची में जो चुनाव चिन्ह आबंटन किए गए हैं, उनमें आम लोगों के उपयोग की वस्तुओं के साथ इलेक्ट्रानिक डिवाइस से लेकर जूता, चप्पल और कोट को भी शामिल किया गया है। निर्दलीय के लिए फूलगोभी, हरी मिर्च, शिमला मिर्च, कटहल, मूंगफली, अंगूर, अदरक और कडाही, कटहल, कैलकुलेटर, हेलीकाप्टर, हेलमेट, सीटी, सूप, खिड़की, पर्स, टायर, माचिस डिब्बी, चिमटा, सूप, त्रिभुज, घन, टूथपेस्ट, स्टूल, खाट, कैंची, सिलाई मशीन, गैस सिलेंडर, गैस चूल्हा, लैपटॉप, पैन ड्राइव, टीवी रिमोट, माइक, चाबी, फुटबॉल, फुटबाल खिलाड़ी, कैरम, चैश, वाटरटैंक और बिस्किट सहित 198 चुनाव चिन्ह तय किए गए हैं। निर्दलियों को नामांकन भरते समय तीन चुनाव चिन्ह का विकल्प देने पर एक चिन्ह आबंटन किया जाता है।]
चुनाव चिन्ह का ऐसे किया जाता है आवंटन
चुनाव आयोग के पास इस तरह के बहुत से सिंबॉल होते हैं। वह चुनाव चिन्हों के लिए दो सूची बनाकर रखता है। पहली सूची में वे सिंबॉल होते हैं, जिनका आवंटन पिछले कुछ साल में हुआ है। दूसरी सूची में ऐसे सिंबॉल हैं जिनका आवंटन किसी को नहीं हुआ है। चुनाव आयोग के पास रिजर्व में कम से कम ऐसे सैकड़ों निशान हैं, जो अब तक किसी को नहीं दिए गए हैं। इनमें से ही किसी भी नए दल या फिर आजाद उम्मीदवार को चुनाव चिन्ह दिया जाता है। हालांकि कोई दल अगर अपना चुनाव चिन्ह खुद चुनाव आयोग को बताता है और वह सिंबाल किसी के पास पहले से नहीं है, तो आयोग उस पार्टी को उसे अलॉट कर देता है।
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