छत्तीसगढ़ : ब्लैक फंगस के मरीजों की संख्या बढ़ी, कोरोना से ठीक हुए दर्जन भर से ज्यादा बुजुर्ग इसके शिकार

रायपुर। कोरोना वायरस के अब ब्लैक फंगस ने लोगों की चिंता बढ़ा दी है। ब्लैक फंगस से होने वाली म्यूकस माइकोसिस नाम की दुर्लभ बीमारी छत्तीसगढ़ भी पहुंच गई है। बताया जा रहा है कि अभी तक कोरोना से ठीक हुए बुजुर्ग मरीज ही इसके शिकार हुए हैं। प्रदेश में ब्लैक फंगस की बीमारी में विस्तार हो रहा है। हालात ऐसे हैं कि छत्तीसगढ़ में ब्लैक फंगस के मरीजों की संख्या 15 से बढ़कर 20 हो गई है।
ब्लैक फंगस से शरीर के अंग खराब हो रहे हैं। आज बुधवार को रायपुर AIIMS में दो सर्जरी हुई है। AIIMS में ऑपरेशन करके 2 मरीजों के जबड़े से कुछ हिस्से निकाले गए हैं। इसके अलावा 5 लोगों की और सर्जरी होनी है। प्रदेश के अलग-अलग हिस्सों से ब्लैक फंगस के मरीज मिल रहे हैं।
गौरतलब है कि मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने छत्तीसगढ़ के सभी जिलों में ब्लैक फंगस के उपचार के लिए सभी जरूरी दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित कराने के निर्देश स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों को दिये हैं। ज्ञातव्य है कि वर्तमान में छत्तीसगढ़ राज्य में ब्लैक फंगस के संक्रमण होने की जानकारी प्राप्त हो रही है, जिसकी रोकथाम हेतु पोसाकोनाजोल एवं एम्फोटेरसिन-बी औषधियों की आवश्यकता होती है। इनकी नियमित एवं विधिवत आपूर्ति किया जाना अतिआवश्यक है।
मुख्यमंत्री के निर्देशों के परिपालन में छत्तीसगढ़ के खाद्य एवं औषधि प्रशासन नियंत्रक ने सभी जिलों में पदस्थ औषधि निरीक्षकों को अपने जिलों में औषधि पोसाकोनाजोल एवं एम्फोटेरेसिन-बी (समस्त डोसेज फॉर्म, टेबलेट, सीरप, इंजेक्शन एवं लाइपोसोमल इंजेक्शन) की उपलब्धता सुनिश्चित करने के निर्देश जारी किये हैं। खाद्य एवं औषधि प्रशासन नियंत्रक ने औषधि निरीक्षकों को निर्देशित किया है, कि वे अपने-अपने कार्यक्षेत्र के भीतर समस्त होलसेलर, स्टॉकिस्ट, सीएंडएफ से उक्त औषधियों की वर्तमान में उपलब्ध मात्रा की जानकारी प्रतिदिन प्राप्त करें। औषधि निरीक्षक अपने क्षेत्र के सभी औषधि प्रतिष्ठानों को इस संबंध में आवश्यक निर्देश जारी करें।
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