जंगल सफारी की भूख मिटाने अब चाहिेए चूजे, मेंढक और चूहे, बनेगा स्नेक पार्क

छत्तीसगढ राज्य केे जंगल सफारी जू में पर्यटक जहां वन्यजीवों को देखकर रोमांचित हो रहे हैं, वहीं इसी सत्र में स्नेक पार्क में विषधर के जहरीले दांतों को देखकर पर्यटकों को सिहरन का एक अलग अनुभव होगा। जंगल सफारी जू में साढ़े पांच सौ वर्गमीटर के क्षेत्रफल में स्नेक पार्क बनाया जाएगा। जू प्रबंधन के मुताबिक स्नेक पार्क को इसी सत्र में पूरी करने की योजना है।
स्नेक पार्क में विलुप्त प्रजाति के सांपों के साथ खतरनाक जहर उगलने वाले सांपों को रखा जाएगा। स्नेक पार्क पारदर्शी होगा, पर्यटक ग्लास के अंदर से सांपों का दीदार कर सकेंगे। सांपों के आहार के लिए उन्हीं के अनुरूप भोजन की व्यवस्था की जाएगी।
मानव निर्मित जंगल सफारी को पूरी तरह जंगल के अनुरूप ढालने की कवायद की जा रही है। इसी वजह से सफारी प्रबंधन ने जू में स्नेक पार्क बनाने की योजना तैयार की है। स्नेक पार्क में भारतीय सरीसृप के साथ विदेशी प्रजाति के सांप रखे जाएंगे। साथ ही स्नेक पार्क में सांपों की विशेष देखभाल करने की व्यवस्था की जाएगी। सांपों को पार्क में रखने की ऐसी व्यवस्था की जाएगी, जिसमें सांपों के पार्क से निकलने की किसी तरह से कोई गुंजाइश न हो।
स्वयं के शिकार का करते हैं भक्षण
सभी तरह के सांप प्रजाति की एक एक खास विशेषता होती है, सांप कभी भी पहले से मरे हुए कीट या जीव का भक्षण नहीं करते। सांप अपने द्वारा शिकार किए गए जीव, कीट का ही भक्षण करते हैं। ज्यादातर सांप मेंढक, चूहे का शिकार कर खाते हैं। इसीलिए स्नेक पार्क में सांपों के आहार के अनुरूप जिंदा चूहा और मेंढक छोड़ना होगा। चूहा, मेंढक उपलब्ध नहीं होने की स्थिति में मुर्गी का चूजा उन्हें आहार में दिया जाएगा। इसके साथ अजगर जैसे सांपों के लिए मुर्गे की व्यवस्था होगी।
इतनी प्रजाति के पार्क में सांप होंगे
स्नेक पार्क में विशाल सर्प के रूप में अजगर पायथन रहेगा, जो पूर्व से ही जंगल सफारी में मौजूद हैं। इसके साथ स्नेक पार्क में कोबरा के साथ किंग कोबरा, कैट स्नेक, बैंबू वाइपर, इंडियन रेड स्नेक, कामन करैत सहित चीकल्ड किल स्नेक पार्क में देखने को मिलेगा।
महीनों में करते हैं शिकार
सांपों की जानकारी रखने वाले लोगों के मुताबिक सांपों को महीनों में एक बार भोजन की जरूरत पड़ती है। इस वजह से जू प्रबंधन को सांपों के लिए भोजन व्यवस्था के लिए ज्यादा मशक्कत नहीं करनी होगी। सफारी प्रबंधन के अधिकारियों के अनुसार सांपों के लिए भोजन की व्यवस्था करने की जिम्मेदारी जू में मटन आपूर्ति करने वाले की होगी।
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