छत्तीसगढ़ में पहली बार थर्ड जेंडर सामान्य पर पड़े भारी, फिजिकल में 100 फीसदी सफल

छत्तीसगढ़ में पहली बार थर्ड जेंडर सामान्य पर पड़े भारी, फिजिकल में 100 फीसदी सफल
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ट्रेन, बस और शादी समाराेह में नाच-गाना कर पब्लिक के चंदे के पैसे से गुजारा करते थे। इसके लिए बिहार, राजस्थान, उत्तरप्रदेश और मध्यप्रदेश तक जाना होता था। छग पुलिस भर्ती के आवेदन में थर्ड जेंडर का काॅलम आया तो उम्मीद जागी कि हमारे जीवन में बदलाव हो सकता है। पुलिस अफसरों का सहयोग मिला और हम लोगाें ने कड़ी मेहनत की, लेकिन रिजल्ट आने से पहले थोड़ी मायूसी जरूर थी कि क्या होगा। रिजल्ट आते ही लगा कि समाज में अब हमें भी सम्मान मिलेगा। इसके लिए हमने कड़ी मेहनत की और लिखित व शारीरिक परीक्षा पास की है। ये कहना था, शिवकन्या उर्फ राकेश और अन्य थर्ड जेंडर अभ्यर्थियों का। अब पुलिस की वर्दी पहनकर ट्रेनिंग करने के बाद वे थानों पर तैनात होंगे, लेकिन उनकी एक ख्वाहिश है कि उनके परिवार वाले फिर से अपना लें और उनके भाई-बहनों के बराबर सम्मान मिले।

रायपुर. ट्रेन, बस और शादी समाराेह में नाच-गाना कर पब्लिक के चंदे के पैसे से गुजारा करते थे। इसके लिए बिहार, राजस्थान, उत्तरप्रदेश और मध्यप्रदेश तक जाना होता था। छग पुलिस भर्ती के आवेदन में थर्ड जेंडर का काॅलम आया तो उम्मीद जागी कि हमारे जीवन में बदलाव हो सकता है। पुलिस अफसरों का सहयोग मिला और हम लोगाें ने कड़ी मेहनत की, लेकिन रिजल्ट आने से पहले थोड़ी मायूसी जरूर थी कि क्या होगा। रिजल्ट आते ही लगा कि समाज में अब हमें भी सम्मान मिलेगा। इसके लिए हमने कड़ी मेहनत की और लिखित व शारीरिक परीक्षा पास की है। ये कहना था, शिवकन्या उर्फ राकेश और अन्य थर्ड जेंडर अभ्यर्थियों का। अब पुलिस की वर्दी पहनकर ट्रेनिंग करने के बाद वे थानों पर तैनात होंगे, लेकिन उनकी एक ख्वाहिश है कि उनके परिवार वाले फिर से अपना लें और उनके भाई-बहनों के बराबर सम्मान मिले।

रायपुर से 8 थर्ड जेंडर्स ने दी परीक्षा

पुलिस के मुताबिक पुलिस भर्ती में रायपुर से 8 थर्ड जेंडरों ने परीक्षा दी थी। सभी को आरक्षक पद के लिए चयनित किया गया है। छत्तीसगढ़ पुलिस के इतिहास में यह पहला मौका होगा, जब थर्ड जेंडर अपने शौर्य का प्रदर्शन कर भर्ती के शारीरिक मापदंडों को पूरा किया। उनका चयन रिजर्व कोटा से नहीं, बल्कि सामान्य महिला वर्ग की तरह परीक्षा देकर पास हुई हैं। अब उनका नाम पुलिस आरक्षक की लिस्ट में जुड़ गया।

रिजर्व पुलिस लाइंस में हुई थी ट्रेनिंग : अफसरों के मुताबिक रिजर्व पुलिस लाइंस के परेड ग्राउंड में थर्ड जेंडर वर्ग के अभ्यर्थियों को पांच तरह की ट्रेनिंग दी जा रही थी। इसमें पुलिस भर्ती के मानक के हिसाब से ऊंची कूद, लंबी कूद, 800 मीटर व 100 मीटर की टाइमिंग के हिसाब से दौड़ की ट्रेनिंग दी जा रही थी। वहीं 6 से 9 मीटर तक गोला फेंक का प्रशिक्षण भी दिया गया।

ये करेंगे काम

अफसरों के मुताबिक पुलिस आरक्षक पद में भर्ती होने वाले थर्ड जेंडर्स की थानों पर पोस्टिंग होने के बाद उनकी न सिर्फ लॉ एंड आर्डर कंट्रोल करने ड्यूटी लगाई जाएगी, बल्कि हत्या, लूट, डकैती और मारपीट जैसे तमाम क्राइम की विवेचना में सहयोग करने की जिम्मेदारी भी सौंपी जाएगी।

इनका हुआ सलेक्शन

अफसरों के मुताबिक रायपुर से दीपिका यादव उर्फ दीपक, शिवकन्या उर्फ राकेश, तनुश्री उर्फ तोरन, सोनिया उर्फ योगेश, नैना सोरी उर्फ राकेश, निशु उर्फ नरेश, कृषि उर्फ कन्हैया और एक अन्य शामिल हैं।

सभी हुए सफल

रायपुर जिले में 8 थर्ड जेंडर्स ने आरक्षक पद के लिए परीक्षा दी थी। उनका रिजल्ट बेहतर आया है। सभी के सभी पास हो गए हैं।

- अजय यादव, एसएसपी, रायपुर

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