आत्मानंद स्कूल में भर्ती के लिए फर्जीवाड़ा : पालकों ने हिन्दी माध्यम के बच्चों का प्राइवेट अंगेजी माध्यम स्कूलों से बनवाई फेक अंकसूची-टीसी और करा लिया एडमिशन

ताराचंद कठोत्रे/लवन। छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के मंशारूप प्रदेश में अंग्रेजी माध्यम से स्वामी आत्मानंद नाम स्कूल संचालित किया जा रहा है। इसी तर्ज पर बलौदाबाजार जिले में स्थित भाटापारा के नगर पंचायत लवन में अंग्रेजी माध्यम की स्वामी आत्मानंद स्कूल सत्र 2022-23 में कक्षा पहली से हायर सेकंडरी स्कूल संचालित किया गया है। इसमें प्रवेश पाने के लिए नियम लागू किया गया कि पूर्व कक्षा में अंग्रेजी माध्यम में पढने वाले छात्र-छात्राओं की आनलाइन प्रक्रिया से फार्म की प्रक्रिया पूरी कराई जाए। सभी कक्षाओं के लिए 50-50 सीटें निर्धारित की गई थी। सभी कक्षाओं के निर्धारित सीटों से अधिक आनलाइन फार्म डाला गया था। फार्म की प्रक्रिया पूरी होने के बाद पात्र और अपात्र की सूची तैयार की गई। फिर स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम लवन में पात्र छात्रों का प्रवेश प्रारंभ हुआ। इसके अंतर्गत कक्षा पहली में पात्रों की संख्या अधिक होने के कारण लॉटरी के माध्यम से प्रवेश लिया गया। बाकी कक्षाओं में पात्रों की संख्या 50 से कम होने की वजह से लॉटरी निकालने की आवश्यकता नहीं पड़ी और इस तरह से कक्षा पहली से 9वीं तक प्रवेश पूरा हुआ।
स्कूल में फर्जी तरीके से भर्ती
लेकिन अब स्वामी आत्मानंद स्कूल लवन में फर्जी तरीके से भर्ती कराने का मामला सामने आया है। बताया जा रहा है कि यहां कक्षा दूसरी से लेकर कक्षा 9वीं तक की कक्षाओं में पढ़ रहे बहुत से बच्चों के पालकों ने हिन्दी माध्यम में पढ़ रहे अपने बच्चों के लिए स्वामी आत्मानंद लवन में प्रवेश दिलाने के लिए प्राइवेट अंग्रेजी माध्यम के स्कूल से फर्जी अंकसूची और स्थानांतरण प्रमाण बनवाकर फर्जी तराके से प्रवेश लिया है। अब इस स्वामी आत्मानंद स्कूल में फर्जी तरीके से भर्ती कराए पालकों और फर्जी प्रमाण पत्र देने वाले स्कूलों पर कार्यवाही करने की शिकायत जिला कलेक्टर, जिला शिक्षा अधिकारी और संबंधित विभाग में किया गया है।
प्रमाण पत्र की मूल प्रतियों के सत्यापन के बाद दिया गया प्रवेश : प्राचार्य
स्वामी आत्मानंद स्कूल लवन के प्राचार्य हरिशंकर जोशी ने कहा कि आनलाइन किए गए आवेदन मेरे पास आया है। आवेदन के माध्यम के आधार पर प्रमाण पत्र की मूल प्रतियां सहित सत्यापन करने के बाद प्रवेश दिया गया है। वहीं डीईओ सीएस ध्रुव ने कहा कि हमें प्रर्याप्त मात्रा में अंग्रेजी माध्यम के बच्चे मिल गए हैं, फर्जी प्रमाण पत्र देने वाले स्कूलों पर कार्यवाही किया जाएगा।
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