मास्टर प्लान 2031 की दावा-आपत्तियों पर सुनवाई अपरिहार्य कारण से स्थगित, अब 8 फरवरी से होगी सुनवाई

मास्टर प्लान 2031 की दावा-आपत्तियों पर सुनवाई अपरिहार्य कारण से स्थगित, अब 8 फरवरी से होगी सुनवाई
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रायपुर: मास्टर प्लान 2031 के लिए आई दावा-आपत्तियों पर मंगलवार को सुनवाई होनी थी, लेकिन अपरिहार्य कारणों से आनन-फानन में इसे स्थगित कर दिया गया।

रायपुर: मास्टर प्लान 2031 के लिए आई दावा-आपत्तियों पर मंगलवार को सुनवाई होनी थी, लेकिन अपरिहार्य कारणों से आनन-फानन में इसे स्थगित कर दिया गया। इन दावा-आपत्तियों पर सुनवाई अब आगामी फरवरी में 8 तारीख से की जाएगी। इस बार नए मास्टर प्लान के लिए 1432 दावा-आपत्ति के आवेदन आए हुए हैं। इन सभी दावा-अपत्तियों को टाउन एंड कंट्री प्लानिंग द्वारा विभाग मुख्यालय को भेज दिया गया है, जिसके बाद इन दावा-आपत्तियों की सुनवाई की जानी है।

दावा-आपत्तियों से मास्टर प्लॉन में कई खामियां उजागर, सुनवाई में की जाएगी दूर

मास्टर प्लान-2031 के लिए बनाए गए मास्टर प्लाॅन में 1432 दावा-आपत्तियां आई हैं। इन आपत्तियों से पता चलता है कि नए मास्टर प्लान में भी कई खामियां हैं। हालांकि इससे पहले वर्ष 2021 के लिए बनाए गए मास्टर प्लान की तुलना में यह आपत्तियां बहुत कम आई हैं। वर्ष 2011 में बनाए गए मास्टर प्लान-2021 के लिए पांच हजार से अधिक दावा-आपत्तियां आई थीं। इसकी तुलना में नए मास्टर प्लान के लिए सिर्फ 1432 दावा-आपत्तियां ही आई हैं। दावा-आपत्तियां जरूर कम आई हैं, लेकिन कहीं ना कहीं यह आपत्तियां भी नए मास्टर प्लान की खामियों को उजागर करती हैं। इन आपत्तियों में भी कुछ आपत्तियां ऐसी हैं जिसमें कुछ रहवासी इलाके को मानचित्र में जलाशय क्षेत्र दर्शा दिया गया है, तो कहीं ग्रीन क्षेत्र को आवासीय एवं व्यवसायी इलाका बता दिया गया है। कई आवासीय प्रोजेक्ट के बीचों-बीच एमआर रोड का प्रस्ताव भी बना दिया गया है। इसी प्रकार कई कृषि भूमि को आमोद-प्रमोद, कहीं आवासीय भूमि को कृषि व्यावसायिक बता दिया गया है। इस तरह नए मास्टर प्लान में आई दावा-आपत्तियों के माध्यम से आई कमियों को विभागीय कमेटी सुनवाई के जरिए ही दूर करने का प्रयास करेगी। हालांकि कुछ आपत्तियों को सुधार कर मास्टर प्लान में शामिल किए जाने की भी संभावना है।

आनन-फानन में सुनवाई स्थगित, दावा-आपत्ति करने वाले कई लोग हुए परेशान

दावा-आपत्तियों पर सुनवाई के लिए 24 जनवरी की तारीख तय की गई थी। इसके बाद दावा-आपत्ति करने वाले 1432 लोग पिछले डेढ़ महीने से अधिक समय से इस सुनवाई का इंतजार कर रहे थे, ताकि वे सुनवाई में अपनी बातें रख सकें। सुनवाई की तय तारीख के एक दिन पहले अचानक आनन-फानन में सुनवाई स्थगित कर दी गई। अधिकारियों का कहना है कि सुनवाई स्थगित की सूचना दावा-आपत्ति करने वाले सभी के मोबाइल फोन नंबर पर मैसेज के जरिए दे दी गई है, जबकि दावा-आपत्ति करने वाले कई लोग सुबह 11 बजे से कलेक्टोरेट के रेडक्रास भवन पहुंचते रहे। उन लोगों का कहना है कि यहां पहुंचने के बाद ही उन्हें पता चला कि सुनवाई अपरिहार्य कारणों से स्थगित कर दी गई है। रेडक्रास भवन के बाहर इस संबंध में सूचना भी चस्पा कर दी गई थी। इस तरह दावा-आपत्ति करने वाले कई लोगों को बेवजह कलेक्टोरेट का चक्कर लगाना पड़ा।

8 फरवरी से होगी सुनवाई

गणतंत्र दिवस सहित अन्य कार्यक्रमों को देखते हुए सुनवाई को स्थगित किया गया है। दावा-आपत्तियों पर सुनवाई अब 8 फरवरी से होगी।

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