मानव तस्करी : युवती को अगवा करके दो बार बेचा, देश भर में सक्रिय गिरोह, हरियाणा से बचकर लौटी पीड़िता ने किया खुलासा

मानव तस्करी : युवती को अगवा करके दो बार बेचा, देश भर में सक्रिय गिरोह, हरियाणा से बचकर लौटी पीड़िता ने किया खुलासा
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सितंबर माह से गुम महिला नवंबर माह में वापस लौटी, हरियाणा से लौटी इस महिला ने अपने उपर होने वाले जुल्म की आप बीती सुनाई। पढ़िए पूरी खबर-

डोंगरगढ़। छत्तीसगढ़ के डोंगरगढ़ में ऐसी मानव तस्करी का खुलासा हुआ है, जिसके तार पूरे देश में फैले हुए हैं। इन लोगों ने डोंगरगढ़ की एक महिला को अगवा कर दिल्ली और हरियाणा में पहले एक लाख फिर डेढ़ लाख में बेचा। इस महिला के साथ पहले एक लड़की ने दोस्ती की और एक दिन पानी में कुछ मिलाकर पिला दिया, जिसके बाद जब उसे होश आया, तो अपने बेटे के साथ वह अगवा हो चुकी थी। उसके बेटे को जान से मारने की धमकी देकर उसे आगे बेचा गया।

महिला ने पुलिस को बताया कि डोंगरगढ़ से मानव तस्करी का बड़ा रैकेट चलाया जा रहा जिसके तार रायपुर से लेकर दिल्ली, हरियाणा व सऊदी अरब तक जुड़े हुए हैं। सितंबर माह से गुम महिला नवंबर माह में वापस लौटी और लौटते ही उसने बड़ा खुलासा किया। हरियाणा से लौटी इस महिला ने आपबीती सुनाई-

प्रार्थी वंदना ने बताया कि- मुझे हरियाणा ले जाकर डेढ़ लाख रुपए में बेच दिया गया। इस दौरान मेरे विरोध करने के बाद मेरे बच्चे के गले में चाकू रखकर मारपीट की गई। मुझे व बच्चे को शुभम साजदा और सलमान के द्वारा रायपुर के किसी घर में लाकर बंद कर दिया गया, जहां पर अन्य चार लड़कियां और भी थी। जिनमें से एक लड़की को दुर्ग से लाया गया था सभी लड़कियों की उम्र लगभग 14-15 साल रही होगी। रायपुर में इनका एक साथी पहले से मौजूद था, जिसका नाम अजय था।

पहले तो उन्हें शादी के लिए मजबूर किया गया और नहीं मानने पर साजदा द्वारा बोला जाता था कि तेरे ऊपर 10 लड़के छोड़ दूंगी, तेरा क्या हाल होगा ? ऐसी धमकी दी जाती थी व मारपीट की जाती थी। साजदा लड़कों की बुकिंग कर शुभम के द्वारा लड़कियां भेजने का काम करवाती थी। मेरे शादी ना करने के विरोध करने के बाद यह बोलते थे कि मेरे बच्चे को मार कर फेंक देंगे और तुझे भी तेरा कोई ठिकाना पता नहीं चलेगा। हम जैसा बोलते हैं वैसा कर। वे बोल रहे थे कि यह लड़की ज्यादा होशियार बन रही है इसको जल्दी से जल्दी ठिकाने लगाना है और किसी से बात करने लगे इसके बाद मुझे वह अन्य लड़कियों को रायपुर से ऑटो के द्वारा एयरपोर्ट लाया गया। इस दौरान इनके साथ एक लड़का व दो औरतें थी जो हमें एयरपोर्ट छोड़ने आई थी।

इस दौरान शुभम व साजदा ने मेरे बच्चे के ऊपर चाकू टिका कर बोला कि थोड़ी भी गलती की तो बच्चे को मार देंगे। इसके बाद हमें हवाई जहाज से दिल्ली लाया गया। इस दौरान एक सरला नाम की महिला भी हमारे साथ थी। हवाई जहाज से उतरने के बाद हमें किसी स्थान पर बैठा दिया गया थोड़ी देर बाद राज और अजय गाड़ी लेकर आए, जहां से हमें हरियाणा के सिंघाना गांव में लाकर एक कमरे में बंद कर दिया गया।

लगातार मेरे विरोध करने के बाद उन्होंने किसी सतीश नामक व्यक्ति को फोन कर बुलाया व जल्दी ठिकाने लगाने की बात कहने लगे। जिसके बाद हरियाणा के पिलोद गांव के सुरेश और उसके भाई या पिता को बुलाकर उनसे एक लाख रूपये लेकर मेरी जबरदस्ती शादी करवा दी। सुरेश के द्वारा मुझे व मेरे बच्चे को एक घर में लाया गया जहां पर चारों तरफ खेत ही खेत था और बच्चे के सामने जबरदस्ती करने के प्रयास किया विरोध करने पर मारा-पीटा गया। विरोध करने के बाद वह सो गया। इसके बाद मैंने भागने का प्रयास किया तो सुरेश ने पकड़ लिया और शुभम और साजदा को फोन कर भाग जाने की बात बताई।

इसके बाद शुभम साजदा और एक अन्य व्यक्ति के साथ हमें हरियाणा के किसी लोहारों स्थान पर लाया गया, जहां फिर से मुझे डेढ़ लाख रुपए में बेचा। मैंने अपने बच्चे को राजेश के घर पर ही छोड़ा और वहां से भागकर हरियाणा के थाने में गई। वहां से पुलिस मेरे साथ राजेश के घर आई और उसे गिरफ्तार कर मेरे बेटे को छुड़ाया। इसके बाद वहां की पुलिस ने डोंगरगढ़ पुलिस से संपर्क किया और हमें हमारे घर भिजवाया।

पुलिस की खामियाँ हुई उजागर

आरोप है कि पीड़िता वंदना जैन के पति शुभम जैन के द्वारा वंदना जैन और बच्चे के लापता होने की सूचना देने के बाद भी पुलिस से सहयोग प्राप्त नहीं हुआ और लगातार थाने में साजदा, शुभम के गायब होने की जानकारी देने के बाद भी ध्यान नहीं दिया गया। उसी समय पुलिस अगर इनका मोबाइल डिटेल या ट्रैकिंग की जाती तो पहले ही पर्दाफाश हो सकता था।

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