कोरबा : आंगन में पहुंच कर हाथी हुआ बेहोश, इलाज के लिए राजधानी से टीम रवाना

कोरबा। छत्तीसगढ़ में 3 हथिनियों की मौत का मामला अभी शांत नहीं हुआ है। इस बीच रविवार की दोपहर कोरबा जिले वनांचल ग्राम गुरमा निवासी किसान गजाराम राठिया के घर के आंगन में एक छोटा हाथी घुस गया। हाथी को देखकर लोगों में अफरा-तफरी मच गई और लोग जान बचाने के लिए वहां से भागने लगे।
लेकिन हाथी ने किसी को नुकसान नहीं पहुंचाया बल्कि वह कुछ देर दर्द से छटपटाने के बाद बेहोश होकर गिर पड़ा। ग्रामीणों ने पंप से पाइप लाकर पानी डाला, लेकिन वह उठ नहीं सका। ग्रामीणों ने इसकी सूचना वन अमले को दी। सूचना मिलने पर वन विभाग के अधिकारी और कर्मी मौके पर पहुंचे और उन्होंने पाया कि हाथी बीमार है। तत्काल पशु चिकित्सकों की टीम को बुलाया गया।
पशु चिकित्सकों ने हाथी की प्रारम्भिक जांच कर उसे ज़रूरी दवाएं और गलूकोस सेलाइन आदि लगाकर उपचार शुरू किया। पशु चिकित्सकों के अनुसार अब हाथी की हालत ख़तरे से बाहर है। हाथी के बेहतर इलाज के लिए राजधानी रायपुर से विशेषज्ञ चिकित्सकों का दल भी गुरमा के लिए रवाना हो गया है। मौक़े पर मौजूद सीएफ़ और कोरबा डीएफ़ओ तथा राजस्व एवं वन विभाग का अमला पूरी तरह से मुस्तैद है।
पशुधन विकास विभाग के उप संचालक डॉ. एसपी सिंह ने बताया को 7-8 वर्ष का नर हाथी अपने झुंड से भटककर गुरमा गांव में घुस गया था। इसकी तबियत पहले से ही कुछ ख़राब होने का अंदेशा पशु चिकित्सकों ने लगाया और बताया कि इस गांव में भीड़ भाड़ के कारण और बाहर निकलने के प्रयास में छोटे हाथी की तबियत और बिगड़ गई थी। अभी हाथी का स्वस्थ्य पहले से बेहतर है। उसकी आँखे, हृदयगति सभी सामान्य रूप से काम कर रही हैं।
कोरबा कलेक्टर किरण कौशल स्वयं इस घटना पर नज़र बनाए हुए हैं और हाथी के स्वस्थ्य के बारे में पूरी जानकारी ले रही हैं। कलेक्टर ने रायपुर से वाइल्ड लाइफ़ विशेषज्ञ पशु चिकित्सकों के गुरमा पहुँचने तक हाथी के स्वस्थ पर पूरी निगरानी रखने और इलाज के बेहतर इंतज़ाम करने के निर्देश अधिकारियों को दिए है।
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