नेताम ने राज्यसभा में पूछा सवाल : मिला जवाब- छत्तीसगढ़ में आदिवासी बच्चों, महिलाओं की मौतें बढ़ीं, सांसद अब राज्य सरकार पर हमलावर

नेताम ने राज्यसभा में पूछा सवाल : मिला जवाब- छत्तीसगढ़ में आदिवासी बच्चों, महिलाओं की मौतें बढ़ीं, सांसद अब राज्य सरकार पर हमलावर
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छत्तीसगढ़ में बीते 3 वर्ष में 25 हजार 164 आदिवासी बच्चों की मौत और 955 आदिवासी गर्भवती महिलाओं की मौत हुई है। दरअसल आदिवासी महिलाओं, नवजात शिशुओं और बच्चों की मौत का यह मामला 8 फरवरी को राज्य सभा में उठा था। किसने पूछा सवाल, क्या मिला जवाब, और अब किसने, किस पर लगाए आरोप, पढ़िए...

रायपुर। छत्तीसगढ़ से राज्यसभा सांसद रामविचार नेताम ने आज राजधानी रायपुर के एकात्म परिसर में एक प्रेसवार्ता ली। प्रेसवार्ता में श्री नेताम ने पिछले तीन साल में आदिवासी बच्चों की मौतों का आंकड़ा पेश करते हुए आरोप लगाया कि राज्य में स्वास्थ्य सेवा चरमरा गई है। छत्तीसगढ़ में बीते 3 वर्ष में 25 हजार 164 आदिवासी बच्चों की मौत और 955 आदिवासी गर्भवती महिलाओं की मौत हुई है। दरअसल आदिवासी महिलाओं, नवजात शिशुओं और बच्चों की मौत का यह मामला 8 फरवरी को राज्य सभा में उठा था। बीजेपी के आदिवासी नेता और छत्तीसगढ़ से राज्य सभा सांसद रामविचार नेताम ने छत्तीसगढ़ की जनजातीय महिलाओं और बच्चों की कुपोषण और अन्य बीमारियों के कारण हुई मृत्यु के मामलों की जानकारी मांगी थी। इस सवाल के जबाव में बताया गया कि छत्तीसगढ़ में बीते 3 साल में आदिवासी महिलाओं और बच्चों की मृत्यु दर में वृद्धि हुई है। आंकड़ों के मुताबिक छत्तीसगढ़ के आदिवासी बाहुल्य और आंशिक रूप से आदिवासी बाहुल्य जिलों में 25 हजार 164 बच्चों की मौत हुई है। वहीं 955 गर्भवती महिलाओं की भी मौत हुई है। इसी को आज रायपुर में उठाते हुए श्री नेताम ने कहा कि इस ओर मुख्यमंत्री का जरा सा भी ध्यान नहीं है। वे तो केवल अपनी कुर्सी को कैसे बचाएं, इसी में लगे रहते हैं। इतने खराब हालात छत्तीसगढ़ में आज तक नहीं देखा गया। श्री नेताम ने कहा आदिवासी अंचलों में स्वास्थ्य विभाग कोई ध्यान नहीं दे रहा है। उनहोंने आंकड़े पेश करते हुए कहा कि साल 2018 में 3, 290 बच्चों की मौत हुई है। 2018 - 19 में कुल 6448 मौतें हुईं। 2019-2020 में 7406 मौतें हुईं। उनहोंने कहा कि स्वास्थ्य व्यवस्था प्रदेश सरकार का विषय है, लेकिन फिर भी भारत सरकार इसमें मदद कर रही है। उनहोंने ये भी कहा कि आदिवासी महिलाओं की भी सर्वाधिक मौत हो रही है- 2019-20 में 304, 2020- 2021 : 314 मौतें हुईं। आंकड़े पेश करते हुए श्री नेताम ने कहा कि महिलाओं की सर्वाधिक मौतें राजनांदगांव जिले में हुई हैं। केंद्र सरकार हर साल हजारों करोड़ रुपये की रकम राज्य सरकार को देती है, फिर भी राज्य सरकार को इन आदिवासियों की चिंता नहीं है। उन्होंने राज्य सरकार से ऐसे मृतकों को म़आवजा देने की भी मांग की।

लोग रात में फोन कर बताते हैं, कितनी भी पी लें चढ़ती नहीं...

राज्यसभा सांसद श्री नेताम ने राज्य सरकार पर शराब के नाम पर पानी बेचने का आरोप लगाते हुए कहा कि केवल भ्रष्टाचार किया जा रहा है। वहीं प्रदेश में शराब बंदी के सवाल पर उन्होंने राज्य में बिक रही शराब की गुणवत्ता पर सवाल खड़े किए। नेताम ने कहा है कि प्रदेश में शराब के अलग अलग ब्रांड बनाकर सिर्फ पानी बेचा जा रहा है। हमारे प्रदेश के पियक्कड भी इस सरकार से खुश नहीं हैं। जनप्रतिनिधि होने के नाते रात में भी कई फोन आते हैं और वे कहते हैं कि शराब कितनी भी पी लेते हैं फिर भी चढ़ती ही नहीं।

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