रानी को सुरक्षा : हाईकोर्ट का छत्तीसगढ़ पुलिस को आदेश, विभा सिंह को दी जाए पर्याप्त सुरक्षा

खैरागढ़। सम्पति विवाद के मामले में कानूनी सलाह लेने और अदालत में अपना पक्ष रखने के लिए शहर पहुंचने पर विभा सिंह को सुरक्षा मुहैया कराने हाईकोर्ट ने पुलिस कों आदेशित किया है। पूर्व विधायक राजा स्वर्गीय देवव्रत सिंह की पत्नी विभा सिंह ने हाईकोर्ट में याचिका पेश कर पारिवारिक संपत्ति विवाद के मामले में कानूनी प्रक्रिया का पालन करने खैरागढ़ और छुईखदान आने-जाने का हवाला देते हुए कहा था कि इस दौरान उनके साथ किसी भी प्रकार की अप्रिय वारदात हो सकती है, इसलिये उन्हें सुरक्षा मुहैया कराई जाए। मामले में उनका पक्ष सुनने के बाद हाईकोर्ट ने पुलिस महानिदेशक मुख्यालय, छग रायपुर, पुलिस महानिरीक्षक, दुर्ग रेंज, कलेक्टर और पुलिस अधीक्षक राजनांदगांव और थाना प्रभारी को आदेशित किया है कि, विभा सिंह का देवव्रत सिंह के परिवार के सदस्यों के बीच धारा 145 सीआरपीसी के तहत प्रमाणित कारवाई चल रही है। इस दौरान कानूनी उपाय करने के लिए विभा सिंह को खैरागढ़, छुईखदान आना जाना कर उपाय तलाशना होगा, जिससे उन्हें वंचित किया जा रहा है।
कोर्ट ने अपने आदेश में कहा है कि इस तथ्य को ध्यान में रखते हुए कि किसी भी बाहुबल द्वारा जीवन और स्वतंत्रता से वंचित नहीं किया जा सकता। व्यक्ति को कानूनी उपाय प्राप्त करने का पूरा अधिकार है। यह सभी व्यावहारिक उद्देश्यों के लिए स्पष्ट है। कानूनी उपाय का लाभ उठाने के यात्रा करनी पड़ती है, इन परिस्थितियों में याचिकाकर्ता विभा सिंह जब भी खैरागढ़ या उदयपुर का पूर्व सूचना देकर दौरा करेंगी, तो पर्याप्त सुरक्षा प्रदान की जाए। गौरतलब है कि राजा देवव्रत सिंह के निधन के बाद से तलाकशुदा पत्नी पद्मा दोनों बच्चों के साथ रह रही हैं, जबकि वर्तमान पत्नी विभा सिंह अलग हो चुकी हैं। हालांकि कानूनी दृष्टिकोण से उनका पलड़ा भारी है, लेकिन उदयपुर पैलेस में ताला खोलने के दौरान विभा सिंह के खिलाफ नारेबाजी और देर रात पथराव के बाद शासन ने उदयपुर के अलावा कमल विलास पैलेस में भी ताला लगा दिया है और अब मामला कोर्ट में चल रहा है।
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