जम्मू कश्मीर विधान परिषद के पूर्व सदस्य की हत्या की साजिश में शामिल तीन जने गिरफ्तार

नई दिल्ली। क्राइम ब्रांच ने मोती नगर इलाके में जम्मू कश्मीर विधान परिषद के पूर्व सदस्य त्रिलोचन सिंह वजीर के मर्डर केस की साजिश में शामिल तीन लोगों को अरेस्ट किया है। इनके नाम गुरुनानक नगर जम्मू निवासी सरदार जगपाल सिंह(51), हरजिंदर सिंह रैना (71) और सुदर्शन सिंह वजीर (67) है। इस वारदात के पीछे का असली मकसद आपसी दुश्मनी, राजनीतिक और वित्तीय लाभ का मिश्रण था।
स्पेशल सीपी क्राइम ब्रांच रविन्द्र यादव ने बताया 9 मार्च 2021 में बसई दारापुर स्थित एक बिल्डिंग की दूसरी मंजिल पर बने फ्लैट में त्रिलोचन सिंह वजीर की हत्या की गई थी। उनकी लाश बंद फ्लैट के अंदर वॉशरुम में मिली थी। उनके सिर पर गोली मारी गई थी। इस बाबत मोती नगर थाने में हत्या, साजिश, सबूत नष्ट करने, आर्म्स एक्ट आदि धाराओं के तहत केस दर्ज किया गया था। बाद में यह केस क्राइम ब्रांच को ट्रांसफर किया गया था। सीसीटीवी कैमरे की फुटेज और टैक्नीकल सर्विलांस की मदद से पुलिस ने जम्मू निवासी राजेन्द्र चौधरी, बलबीर सिंह और हमरमीत सिंह को पहले ही अरेस्ट कर लिया था।
आरोपी हरप्रीत सिंह खालसा ने ही उस फ्लैट को किराए पर लिया था, जिसमें लाश मिली थी। शुरु में इस हत्या के पीछे मृतक के परिवार से वसूली की बात को वारदात का मकसद माना जा रहा था। लेकिन पीड़ित परिवार के पास फिरौती की कोई कॉल नहीं आई थी। जांच के दौरान मुख्य आरोपी हरप्रीत सिंह खालसा को अरेस्ट किया गया। मामले में वारदात की साजिश में शामिल तीन लोगों नाम सामने आने के बाद उन्हें भी अरेस्ट कर लिया गया। इनमें आरोपी सुदर्शन सिंह वजीर जम्मू का बिजनेसमैन है। वह मृतक का ही कजन है। उसकी त्रिलोचन सिंह वजीर और नागर सिंह से दुश्मनी थी। नागर सिंह भी जम्मू का बिजनेसमैन है।
नागर सिंह के बेटे ने आरोपी सुदर्शन सिंह वजीर के भतीजे का मर्डर किया था। साल 2006 त्रिलोचन सिंह वजीर और नागर सिंह मर्डर केस में अरेस्ट किए गए थे। साल 2018 में त्रिलोचन सिंह और नागर सिंह ने दिल्ली में सुदर्शन सिंह वजीर की हत्या का प्लान बनाया था। यह बात हरमीत सिंह और हरप्रीत सिंह के जरिए सुदर्शन सिंह वजीर को पता चल गई थी। इसके बाद सुदर्शन सिंह वजीर, हरजिंदर सिंह रैना और जगपाल सिंह ने त्रिलोचन सिंह वजीर की दिल्ली में हत्या की प्लानिंग की। इस काम में हरप्रीत सिंह खालसा, हरमीत सिंह, राजेन्द्र चौधरी और बलबीर की मदद ली गई। आरोपी हरजिंदर सिंह रैना जम्मू में लोकल पॉलटिक्स से जुड़ा हुआ है। वह डीजीपीसी में सेक्रटरी और मेंबर भी रह चुका है। वहीं आरोपी सरदार जगपाल सिंह रियल एस्टेट बिजनेस से जुड़ा है। वह डीजीपीसी जम्मू में कैशियर था।
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