Delhi Pollution: पराली जलाने से दिल्ली की हवा हुई खराब, AQI 201 पर पहुंचा

दिल्ली-एनसीआर से सटे राज्यों में पराली जलाने की संख्या में वृद्धि के बाद दिल्ली की हवा खराब हो गई है। गुरुवार सुबह दिल्ली की वायु गुणवत्ता खराब श्रेणी में पहुंच गई और इसके पराली जलाने के मामलों में वृद्धि होने का कारण माना जा रहा है। मौसम विभाग ने कहा कि पराली जलाने के कारण दिल्ली की हवा और खराब होने की आशंका है। इसी बीच, दिल्ली में न्यूनतम तापमान 19.1 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 201 रहा
दिल्ली में सुबह नौ बजे वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 201 रहा, जो खराब श्रेणी में आता है। केन्द्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) के अनुसार, दिल्ली में 29 जून के बाद बुधवार को वायु गुणवत्ता पहली बार खराब श्रेणी में पहुंची थी। वायु गुणवत्ता शून्य से 50 के बीच अच्छी, 51 से 100 तक संतोषजनक, 101 से 200 तक मध्यम, 201 से 300 तक खराब, 301 से 400 तक बेहद खराब और 401 से 500 के बीच गंभीर मानी जाती है।
पीएम 10 के बजाय अब पीएम 2.5 मुख्य प्रदूषक बन रहा: सफर
सीपीसीबी के अनुसार, दिल्ली-एनसीआर में पीएम10 का स्तर बुधवार शाम 234 माइक्रोग्राम प्रति घन मीटर दर्ज किया गया। सौ क्यूबिक मीटर से कम पीएम10 स्तर को सुरक्षित माना जाता है। वायु गुणवत्ता और मौसम पूर्वानुमान एवं अनुसंधान प्रणाली' (सफर) ने कहा कि पीएम 10 के बजाय अब पीएम 2.5 मुख्य प्रदूषक बन रहा है। उसने कहा कि सतही हवाएं रात में शांत रही और इसके अगले दो दिनों तक ऐसे ही स्थिति रहने का अनुमान है। एक्यूआई के 10 अक्टूबर तक और खराब होने का अनुमान है।
पंजाब में 169 और हरियाणा में 526 पराली जलाने के मामले सामने आये
सफर ने कहा कि दिल्ली में प्रदूषकों के एकत्र होने के लिए स्थानीय परिस्थितियां और हवा की दिशा अनुकूल है। पंजाब सरकार के आंकड़ों के अनुसार बुधवार को राज्य में पराली जलाने के 169 मामले सामने आए। अभी तक इस सीजन में पराली जलाने के कुल 1,692 से अधिक मामले सामने आए हैं। वहीं हरियाणा के अधिकारियों ने बताया कि अभी तक पराली जलाने के 526 मामले सामने आए हैं।
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