मिनिस्ट्री ऑफ फाइनेंस के नाम पर ठगी करने वाले रैकेट का हुआ खुलासा, आईएफएसओ यूनिट ने चार जालसाजों को किया अरेस्ट

मिनिस्ट्री ऑफ फाइनेंस के नाम पर ठगी करने वाले रैकेट का हुआ खुलासा, आईएफएसओ यूनिट ने चार जालसाजों को किया अरेस्ट
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स्पेशल सेल की आईएफएसओ यूनिट ने नॉर्थ इंडिया में सक्रिय साइबर चीटिंग सिंडीकेट का पर्दाफाश किया है। इस सिलसिले में चार जालसाजों को अरेस्ट किया गया हैं।

नई दिल्ली। स्पेशल सेल की आईएफएसओ यूनिट ने नॉर्थ इंडिया में सक्रिय साइबर चीटिंग सिंडीकेट का पर्दाफाश किया है। इस सिलसिले में चार जालसाजों को अरेस्ट किया गया हैं। ये खुद को मिनिस्ट्री ऑफ फाइनेंस, आरबीआई, आईआरडीए (बीमा लोकपाल) के अफसर बताकर इंश्योरेंस पॉलिसी धारकों को चूना लगाते थे। आरोप वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के फर्जी हस्ताक्षर वाले लैटर के इस्तेमाल का भी है। डीसीपी प्रशांत गौतम के अनुसार आरोपी विभिन्न इंश्योरेंस कंपनियों से ग्राहकों का डाटा इकट्ठा कर उनसे संपर्क साधते थे।

उन्हें पॉलिसी मैच्योर ना होने पर भी पैसा दिलवाने का प्रलोभन दिया जाता था। पुलिस को मिनिस्ट्री ऑफ फाइनेंस की तरफ से फर्जी कागजातों का इस्तेमाल कर जालसाजी की शिकायत मिली थी। मामला गंभीर होने के कारण आईएफएसओ यूनिट को जांच में लगाया गया था। कई लोगों को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के फर्जी हस्ताक्षर वाले लैटर भी भेजे गये थे। इसके अलावा आरबीआई के रीजनल डायरेक्टर एसएमएन स्वामी के नाम पर भी फर्जीवाड़ा करने का प्रयास किया गया था।

लैप्स पॉलिसी होल्डर को करते थे टारगेट

पुलिस के अनुसार एक केस में जालसाजों ने पीड़ित को उनकी लैप्स हो चुकी इंश्योरेंस पॉलिसी पर साढ़े 12 लाख रुपये का फंड सेंक्शन करवाने की बात कहीं थी। आरबीआई के नाम से बनाई गई फर्जी ईमेल आईडी से उन्हें इस संबंध में एक लैटर भी भेजा गया था। इसके बाद उनसे पहले 44 हजार रुपये प्रोसेसिंग फीस के तौर पर लिये। फिर 27 हजार एनओसी के लिये। शिकायतकर्ता को 12 लाख 46 हजार 518 रुपये का चैक पोस्ट के जरिये भेजा गया। लेकिन फिर 52 हजार की डिमांड फंड रिलीज के नाम हुई। इस प्रकार पीड़ित से कुल एक लाख 27 हजार रुपये ऐंठ लिये गये थे।

लगातार लोकेशन बदल रहे थे जालसाज

पुलिस ने केस दर्ज कर जांच शुरू की तो पता चला कि आरोपी लगातार अपनी लोकेशन बदल रहे हैं। आखिरकार पुलिस मेहताब आलम निवासी मुस्तफाबाद को अरेस्ट कर लिया। इसकी निशानदेही पर बाकी तीन आरोपियों सरताज खान, मो जुनैद और दीन मोहम्मद को भी धर दबोचा। पुलिस केस में कुछ और गिरफ्तारी के प्रयास कर रही है। मेहताब आलम इस रैकेट का मास्टरमाइंड है। सभी आरोपियों का किसी न किसी इंश्योरेंस कंपनी से एक्सपीरियंस रहा है। पुलिस ने आरोपियों के पास से सात मोबाइल फोन, एक लैपटॉप, ग्राहकों की डाटा सीट, एटीएम कार्ड्स बरामद किये हैं।

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