अमेरिका से कुरियर से मंगाकर इन ऐप्स की मदद से भारत में की जा रही ड्रग्स की सप्लाई, DSP ने ग्राहक बन किया गैंग का...

डार्कवेब (Darkweb) और टेलीग्राम (Telegram) की मदद से ड्रग (Drug) की तस्करी (Smuggling) कर रहे एक गैंग का नोएडा पुलिस (Noida Police) ने पर्दाफाश किया है। यह गैंग दिल्ली-एनसीआर सहित देश से कई शहरों में स्टूडेंट्स को ड्रग की तस्करी करता था। ड्रग अमेरिका और बर्लिन से कुरियर के माध्यम से मंगाई जाती थी, जिसका भुगतान क्रिप्टोकरेंसी (Cryptocurrency) में किया जाता था। नोएडा पुलिस के DCP ने खुद ग्राहक बनकर इस गैंग का भंडाफोड़ किया है। पुलिस ने गैंग के तीन लोगों को पकड़ा है, बाकी के तस्करों की तलाश की जा रही है।
ऑनलाइन सोशल ऐप के माध्यमों से अवैध उच्च कोटि के नशीले पदार्थ (कैलिफोर्निया बेस) व PILL आदि मंगाकर एनसीआर क्षेत्र में छात्रों को सप्लाई करने वाले 03 अभियुक्त गिरफ्तार, कब्जे से अवैध नशीला OG 960 ग्राम कीमत करीब 29 लाख रूपये, PILL व पाउडर बनाने की डिब्बी आदि बरामद। थाना नॉलेजपार्क pic.twitter.com/6dfYFQFbxE
— POLICE COMMISSIONERATE GAUTAM BUDDH NAGAR (@noidapolice) September 18, 2022
क्या है पूरा मामला
दिल्ली-एनसीआर में काफी समय से ड्रग तस्करों का एक गैंग चल रहा था। यह गैंग खासकर कॉलेजों में पढ़ने वाले स्टूडेंट्स को अपना निशाना बनाता था। नोएडा पुलिस को काफी समय से इस गैंग की तलाश थी। पुलिस को एक टेलीग्राम ग्रुप के बारे में पता चला, जहां ड्रग की तस्करी के ऑर्डर लिए जाते थे। DCP अभिषेक वर्मा खुद ग्राहक बनकर इस ग्रुप में शामिल हो गए और ड्रग मंगाने का ऑर्डर दे दिया। इसके बाद नोएडा पुलिस ने स्वाट टीम की मदद से एलजी गोलचक्कर के पास ड्रग सप्लाई करने आये भानू, अधिराज और सोनू कुमार को दबोच लिया। तीनों युवक फरीदाबाद के रहने वाले हैं। पुलिस ने इनके पास से 960 ग्राम ओजी (ओरिजनल ग्रोवर कैलिफोर्निया वेड), नशीली गोलियां, वजन मापने की छोटी मशीन, पाउडर बनाने की डिब्बी बरामद की हैं। आरोपियों से मिले सामन की कीमत करीब 29 लाख रुपये बताई जा रही है।
अमेरिका से मंगाते थे ड्रग, क्रिप्टोकरेंसी में भुगतान, टेलीग्राम से सप्लाई
आरोपियों ने पुलिस को बताया कि वे अमेरिका और बर्लिन से कुरियर के माध्यम से ड्रग्स मंगाते थे और उसका भुगतान क्रिप्टोकरेंसी के माध्यम से करते थे। उनका निशाना खासतौर पर कॉलेजों में पढ़ रहे युवा होते थे। ये ऑनलाइन एप्स और टेलीग्राम आदि के माध्यम से छात्रों को जोड़ते थे। आरोपी ऐप पर ऑर्डर लेते थे। फिर खुद जाकर या कुरियर के माध्यम से उन तक ड्रग्स पहुंचा देते थे। पुलिस को तीनों तस्करों के बैंक खाते में करीब 36 लाख रुपये भी मिले हैं। पुलिस का कहना है कि गैंग के तीन लोगों को पकड़ा जा चुका है, बाकी और लोग भी ग्रुप में शामिल हो सकते हैं। उन सबकी तलाश की जा रही है।
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