Toolkit Case: दिल्ली पुलिस का दावा, Zoom ऐप पर 70 लोग थे मौजूद, दो की हुई पहचान, खुले कई और राज

Toolkit Case: दिल्ली पुलिस का दावा, Zoom ऐप पर 70 लोग थे मौजूद, दो की हुई पहचान, खुले कई और राज
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दिल्ली पुलिस कमिश्नर ने कहा कि दिशा रवि की गिरफ़्तारी कानून और प्रक्रियाओं का पालन करते हुए हुई है। कानून 22 साल और 50 साल की उम्र में कोई अंतर नहीं करता। कोर्ट ने गिरफ़्तारी को सही मानते हुए 5 दिन की पुलिस हिरासत में भेजा। जो लोग कहते हैं कि गिरफ़्तारी में कोई कमी है ये बिल्कुल मिथ्या है।

दिल्ली पुलिस (Delhi Police) ने टूलकिट मामले तेजी से कार्रवाई कर रही है। इस संबंध में दिशा रवि की गिरफ्तारी के बाद निकिता जेकब (Nikita Jacob) और शांतनु (Shantanu) की तलाश कर रही है। इसी बीच, टूलकिट मामला में दिल्ली पुलिस ने आगे की कार्रवाई करते हुये वीडियो कॉन्फ्रेंस के लिए इस्तेमाल किए जाने वाले एप 'जूम' (Zoom App) को पत्र लिखा है। उन्होंने 11 जनवरी को ऑनलाइन बैठक (Online Meeting) में शामिल हुए लोगों के संबंध में जानकारी मांगी। जिसके बाद इस मीटिंग में करीब 70 लोग शामिल थे। इनमें से अधिकतर लोगों ने अपनी पहचान छिपा रखी थी यानी कि बिना नाम बताए वे इस मीटिंग को अटैंड कर रहे थे। पुलिस के मुताबिक, मो धालीवाल (MO Dhaliwal) और अनीता लाल (Anita Lal) की पहचान हो गई है। वहीं निकिता जैकब , शांतनु और दिशा रवि (Disha Ravi) की पहचान पहले ही कर ली गई थी। बाकी आरोपियों की पहचान की कोशिश की जा रही है।

वहीं, किसान आंदोलन के समर्थन में पर्यावरण कार्यकर्ता ग्रेटा थनबर्ग ने भारत को तोड़ने और प्रदर्शन को भटकाने के लिए टूलकिट साझा करते हुए ट्वीट किया था। इसके बाद दिशा रवि ने सख्त कानून यूएपीए के तहत कार्रवाई के डर से स्वीडिश कार्यकर्ता को ट्वीट डिलीट करने को कहा था क्योंकि उस टूलकिट में दिशा का भी नाम था। टूलकिट मामले में पुलिस ने सोमवार को यह जानकारी दी। दिल्ली पुलिस ने दावा किया कि ग्रेटा थनबर्ग ने दिशा के अनुरोध के बाद कथित रूप से ट्वीट को डिलीट कर दिया था। बाद में टूलकिट का एक संपादित संस्करण साझा किया।

इस दौरान पुलिस ने यह भी दावा किया कि टूलकिट का फैलाव 22 वर्षीय दिशा ने किया था। उधर, केंद्र सरकार के नए कृषि कानूनों के खिलाफ प्रदर्शनों का नेतृत्व कर रहे संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) ने दिशा रवि की रिहाई की सोमवार को फिर से मांग की। दिशा रवि को शनिवार को दिल्ली पुलिस ने बेंगलुरु से गिरफ्तार किया था।

पुलिस ने आरोप लगाया है कि दिशा रवि ने दो अन्य संदिग्धों- मुंबई की वकील निकिता जैकब और पुणे निवासी इंजीनियर शांतनु- के साथ मिलकर किसानों के विरोध प्रदर्शनों से संबंधित टूलकिट बनायी और भारत की छवि खराब करने के लिए उसे सोशल मीडिया पर साझा किया। इसी बीच, दिल्ली पुलिस कमिश्नर ने कहा कि दिशा रवि की गिरफ़्तारी कानून और प्रक्रियाओं का पालन करते हुए हुई है। कानून 22 साल और 50 साल की उम्र में कोई अंतर नहीं करता। कोर्ट ने गिरफ़्तारी को सही मानते हुए 5 दिन की पुलिस हिरासत में भेजा। जो लोग कहते हैं कि गिरफ़्तारी में कोई कमी है ये बिल्कुल मिथ्या है।

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