सीतारमण की बैठक में डिप्टी CM सिसोदिया बोले- 2047 तक दिल्लीवासी की आय सिंगापुर के बराबर करना हमारा लक्ष्य

सीतारमण की बैठक में डिप्टी CM सिसोदिया बोले- 2047 तक दिल्लीवासी की आय सिंगापुर के बराबर करना हमारा लक्ष्य
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राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली (Delhi) के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने कहा कि दिल्ली सरकार का लक्ष्य 2047 तक दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय को सिंगापुर के स्तर तक ले जाना है। मंगलवार को जारी एक बयान में सिसोदिया ने कहा कि दिल्ली की विकास दर 11-12 प्रतिशत तक पहुंच गई है।

राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली (Delhi) के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने कहा कि दिल्ली सरकार का लक्ष्य 2047 तक दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय को सिंगापुर के स्तर तक ले जाना है। मंगलवार को जारी एक बयान में सिसोदिया ने कहा कि दिल्ली की विकास दर 11-12 प्रतिशत तक पहुंच गई है। पिछले छह वर्षों में और प्रति व्यक्ति आय राष्ट्रीय औसत से तीन गुना अधिक है।

देश के सभी राज्यो में दिल्ली को तेज बताते हुए उन्होंने कहा कि केजरीवाल सरकार राजधानी में एक प्रगतिशील कारोबारी माहौल को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने कहा राजधानी दिल्ली की पांच से छह सालों में विकास दर 11-12 प्रतिशत रही है। देश की आबादी का महज 1.49 फीसदी होने के बावजूद देश की जीडीपी (GDP) में दिल्ली का योगदान 4.4 फीसदी है। दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय 3 लाख 54 हजार है, जो राष्ट्रीय प्रति व्यक्ति आय मानक का तीन गुना है।

उन्होंने कहा कि सरकार का इरादा है देश की आजादी की 100वीं वर्षगांठ के मौके पर 2047 तक दिल्ली की प्रति व्यक्ति आय को सिंगापुर के बराबर करने का है। सिसोदिया ने यह टिप्पणी सोमवार शाम केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) की अध्यक्षता में हुई वर्चुअल बैठक के दौरान की। बैठक के दौरान देश की अर्थव्यवस्था (Economy) को सुधारने और राज्यों में विकास की रफ्तार तेज करने पर बातचीत की।

उन्होंने कहा कि दिल्ली सरकार राज्य में कई विकासात्मक मुद्दों के काम में जुटी है। जिसमें केंद्र (Central Government,) के सहयोग की जरूरत है। केजरीवाल सरकार का विशेष फोकस स्वास्थ्य, शिक्षा और पर्यावरण पर है। अगर केंद्र सरकार सहयोग करती है तो दिल्ली की गिनती जल्द ही दुनिया के विकसित शहरों में होगी। सिसोदिया ने कहा कि सरकार के पास जमीन की कमी दिल्ली के सर्वांगीण विकास में सबसे बड़ी चुनौती है और उन्हें केंद्र सरकार से सहयोग की उम्मीद है।

सिसोदिया ने कहा कि बुनियादी ढांचे के मोर्चे पर सरकार दिल्ली में 540 किलोमीटर सड़कों को नया स्वरूप दे रही है। इन सड़कों के पुनर्निर्माण पर 11,000 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। दिल्ली सरकार वर्तमान में इस परियोजना को अपने स्वयं के धन से वित्त पोषित कर रही है, लेकिन उम्मीद है कि केंद्र भी योगदान देगा।

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