ऐतिहासिक नगरी राखीगढ़ी का इतिहास में दर्ज होगा एक और पन्ना, खुदाई पर पूरे देश की निगाहें

हरिभूमि न्यूज : नारनौंद (हिसार)
हड़प्पाकालीन सभ्यता को लेकर राखीगढ़ी देश की सबसे बड़ी साइट है। इसकी खुदाई पर एक बार फिर पूरी दुनिया की नजरें हैं कि इस साइट से अब क्या-क्या अवशेष मिलेंगे जो इतिहास के पन्नों में दर्ज हो सकते हैं और पहले की गई खोदाई की साइट को खुला रखने का भी प्लान तैयार किया जा रहा है। उसके बाद इस आईकॉनिक साइट पर पर्यटकों की संख्या बढ़ेगी और राखीगढ़ी का महत्व देश के चुनिंदा स्मारकों में शामिल होगा। विश्व के मानचित्र पर अंकित हिसार जिले का गांव राखीगढ़ी होने वाली खुदाई के कारण एक बार फिर सुर्खियों में है। खुदाई का शुभारंभ भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग के संयुक्त महानिदेशक संजय मंजूल द्वारा किया जा चुका है। लेकिन किन्ही कारणों से खुदाई फिलहाल बंद है।
सूत्रों की मानें तो जल्द खुदाई शुरू हो जाएगी। भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग दिल्ली इन टीलों की खुदाई करेगा सबसे पहले टीले नंबर एक को चयनित किया गया है। इससे पहले भी इस टीले पर तीन अलग-अलग हिस्सों पर खुदाई हो चुकी है। भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण की टीम इस टीले पर पुरानी खुदाई की गई साइट के साथ नई साइट भी खुदाई करने का काम करेगी। पुरानी साइट को बड़ी बारीकी से खोला जाएगा और फिर उस मिट्टी टेस्ट के लिए लैब में भेजा जाएगा। ताकि वह मिट्टी खुली छोड़ने पर नष्ट ना हो उसके तापमान के अनुसार ही उस साइट को प्रोटेक्ट कर खुला छोड़ने की योजना पर काम किया जाएगा। इस टीले का क्षेत्रफल देखा जाए तो करीब 10 एकड़ में फैला है। खुदाई के साथ टीले को पर्यटक हब के रूप में विकसित करने के लिए विभाग ने पूरी तैयारी कर ली है। टीले के निचले हिस्से में समतल जगह पर बड़ा पार्क बना जाएगा। जिसके चारों तरफ फूलदार पौधे लगाए जाएंगे। साथ ही पीने के पानी के लिए वाटर कूलर, शौचालय और बैठने के लिए कुर्सियां भी रखी जाएगी ताकि बाहर से आने वाले पर्यटक यहां पर कुछ पल बिता सकें।
सबसे बड़ी साइट राखीगढ़ी
पूरे देश में हड़प्पाकालीन सभ्यता की करीब 16 सौ साइट है और इन साइटों में सबसे बड़ी साइट राखीगढ़ी है। हरियाणा में हड़प्पा की अन्य साइटें हिसार में राखीगढ़ी लोहारी राघो, सिरसा, फतेहाबाद में बनवाली, कुणाल, रोहतक में फरवाना, भीराना और जींद में खेड़ा अलीपुरा हैं।
खुदाई का कार्य जल्द शुरू किया जाएगा
भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग के संयुक्त महानिदेशक संजय मंजूल ने बताया कि खुदाई का कार्य फिलहाल बंद है जल्द इसे शुरू किया जाएगा और जिन जिन साइटों पर खुदाई पहले हो चुकी है। उनमें से कुछ साइटों को रिओपन करके उनको खुला छोड़ा जाएगा ताकि पर्यटक उनको देख सकें।
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