Gurugram : विदेशी लोगों से ठगी करने वाले फर्जी कॉल सेंटर का भंडाफोड़, पकड़े 7 आरोपी

Gurugram : साइबर थाना साउथ पुलिस ने विदेशी लोगों से ठगी करने वाले कॉल सेंटर का भंडाफोड़ किया। पुलिस ने कॉल सेंटर संचालक सहित सात को गिरफ्तार किया। आरोपी रिफंड के नाम पर एक साथ चार हजार ईमेल करते, जिसमें दिए गए टोल फ्री नंबर पर कॉल आती तो उनके लैपटॉप में एनीडेस्क ऐप इंस्टॉल कराने के बाद लैपटॉप को हैक कर लिया जाता और डाटा का मिसयूज न करने की ऐवज में 250 से 500 डॉलर वसूलते थे। यह रकम बिटकॉइन और गिफ्ट.कार्ड के रूप में वसूली जाती। पुलिस ने वारदात में प्रयुक्त स्क्रिप्ट, 5 लैपटॉप, 7 मोबाइल, 2 क्रिप्टोकरंसी हार्डवेयर वॉलेट लेजर बरामद किए। पुलिस आरोपियों को अदालत में पेश कर रिमांड पर लेगी।
साइबर थाना साउथ पुलिस को सूचना मिली कि अंसल एसेंसिया सोसाइटी सेक्टर-67 स्थित एक मकान में अवैध रूप से कॉल सेंटर चलाकर विदेशी लोगों को ठगा जा रहा है। जिस पर पुलिस कमिश्नर कला रामचंद्रन के निर्देशन व डीसीपी साउथ सिद्धांत जैन, एसीपी साइबर विपिन अहलावत के नेतृत्व में साइबर थाना साउथ प्रभारी इंस्पेक्टर सईद अहमद की टीम ने मौके पर पहुंचकर रेड की। वहां सात युवक जूम एप सहित अन्य ऐप के जरिए लोगों को कॉल करके बात कर रहे हैं। पुलिस ने मौके पर मिले संचालक मोहम्मद जफर इकबाल को काबू किया। उससे कॉल सेंटर चलाने का लाइसेंस मांगा तो वह पेश नहीं कर सका। पूछताछ में आरोपी ने बताया कि वह करीब एक महीने से इस फ्लैट में कॉल सेंटर चला रहे हैं। यह फ्लैट उन्होंने किराए पर लिया है। इस कॉल सेंटर में उसने छह लड़कों को कस्टमर सर्विस के लिए नौकरी व कमिशन पर रखा हुआ है।
मुख्य संचालक सहित सात गिरफ्तार
पुलिस ने मौके से कॉल सेंटर के मुख्य संचालक मोहम्मद जफर इकबाल (38 वर्ष), नूर हुसैन (28), सुमित (32), अभिषेक मश्रिा (30), शेख इब्राहिम (28), अभिषेक गुप्ता (35) व मोहम्मद आदिल (32) को गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने मौके से वारदात में प्रयुक्त स्क्रिप्ट, 5 लैपटॉप, 7 मोबाइल, 2 क्रिप्टोकरंसी हार्डवेयर वॉलेट लेजर बरामद कर सभी आरोपियों पर अवैध रूप से कॉल सेंटर चलाने पर केस दर्ज कर लिया।
रिफंड दिलाने के नाम पर करते ठगी
आरोपियों ने पूछताछ में बताया कि वह यूएसए व ऑस्ट्रेलिया के नागरिकों का डाटा टेलीग्राम ऐप के जरिए मंगाते। वहीं पेपल, नॉर्टन, अमेजॉन के अनऑथराइज्ड चार्ज के रिफंड देने के लिए रोजाना चार से पांच हजार विदेशी लोगों को ईमेल के माध्यम से टोल फ्री नंबर भेजते थे। जब कस्टमर टोल फ्री नंबर पर कॉल करता था तो उनके कंप्यूटर में एनीडेस्क ऐप डाउनलोड करवा कर उनके कंप्यूटर का एक्सेस ले लिया जाता था। वहीं उनके कंप्यूटर की स्क्रीन को काला कर उनके बैंक खातों में अमाउंट बढ़ा हुआ दिखाया जाता था। इस सर्विस के नाम पर गिफ्ट/बिट कॉइन के माध्यम से 250-300 डॉलर चार्ज लेने के नाम पर ठगी करते थे। वहीं कस्टमर को गुमराह करके उनसे एप्पल, गूगल प्ले, टारगेट व इबे के गिफ्ट कार्ड खरीदवाकर उनके नंबर नोट कर लेते थे। इन गिफ्ट कार्ड को ये अपने जानकार से चाइना में रीडीम करवाते थे।
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