हरियाणा मंत्रिमंडल विस्तार : कमल गुप्ता और देवेंद्र बबली को मंत्री बनाकर एक तीर से कई निशाने साध गए CM खट्टर

योगेंद्र शर्मा. चंडीगढ़
आखिरकार सूबे की मनोहर सरकार ने सवा 2 साल के बाद मंत्रिमंडल विस्तार कर ही दिया है। भारतीय जनता पार्टी और संघ से पुराना रिश्ता रखने वाले हिसार के विधायक कमल गुप्ता को मंत्री पद से नवाजा गया है। इसके अलावा गठबंधन जननायक जनता पार्टी टोहाना सीट से विधायक देवेंद्र बबली को भी मंत्री पद मिल गया है। दोनों नेताओं को इसके लिए लंबा इंतजार करना पड़ा। देवेंद्र बबली की ऐतिहासिक जीत और भारतीय जनता पार्टी के तत्कालीन प्रदेश अध्यक्ष सुभाष बराला को हराने के साथ ही उनका मंत्री पद मिलना तय हो गया था लेकिन कई प्रकार के सियासी समीकरणों और सुभाष बराला का भाजपा में बड़ा कद इसमें आड़े आता रहा। लेकिन कमल गुप्ता और देवेंद्र बबली दोनों ने बेहद सहनशीलता के साथ समय निकाला और मंगलवार को उनकी ताजपोशी हुई।
खास बात यह है कि हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने दो मंत्रियों को पद देकर एक तीर से कई निशाने साधने का काम किया है। जातिगत समीकरणों की बात करें तो देवेंद्र बबली जाट समुदाय से आते हैं जबकि कमल गुप्ता वैश्य समुदाय का प्रतिनिधि बने हैं। दो खाली पदों को भरने के साथ ही हरियाणा मंत्री समूह की सभी सीटें भर गई हैं। खास बात यह है कि मंत्री समूह में कुछ चेहरों को परफॉर्मेंस के आधार पर बदलाव अटकलों पर फिलहाल विराम लग गया है।
दूसरी ओर जिन मंत्रियों के नाम हटाने को लेकर सियासी गलियारों में चर्चा का विषय बने हुए थे उन्होंने भी मंगलवार की देर शाम राहत की सांस ली है। कुल मिलाकर 4:16 मिनट शाम को सबसे पहले हिसार से विधायक कमल गुप्ता ने संस्कृत में शपथ ली और टोहाना फतेहाबाद जिले के विधायक देवेंद्र बबली ने हिंदी में शपथ ली। इस दौरान दोनों विधायकों के परिवार रिश्तेदार और क्षेत्र के लोग भारी संख्या में राजभवन पहुंचे हुए थे। मंच पर हरियाणा के राज्यपाल बंडारू दत्तात्रेय और हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल और डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला के साथ-साथ हरियाणा विधानसभा के स्पीकर ज्ञान चंद गुप्ता मौजूद रहे। अतिरिक्त मुख्य सचिव और वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी ने मंच संचालन किया।
कोविड संक्रमण की दो लहरों और किसान आंदोलन ने रोकी राह
कोविड- संक्रमण की दो लहरों ने हरियाणा में भी सरकार द्वारा उठाए जाने वाले कदमों को समय-समय पर रोक दिया। मंत्री समूह का विस्तार दो चुनौतीपूर्ण साल के साथ साथ 1 साल से ज्यादा चला किसान आंदोलन भी बड़ा कारण रहा। सूबे की मनोहर सरकार के नए वर्ष अक्टूबर में 3 साल पूरे होने जा रहे हैं। इस प्रकार से कई बार मंत्रिमंडल विस्तार की अटकलें लगती रही और मुख्यमंत्री मुस्कुराकर एक ही जवाब दिया करते थे कि वक्त आने पर आपको अवगत करा दिया जाएगा।
कदावर नेता सुभाष बराला फिलहाल चेयरमैन और सीएम की गुड बुक में
हरियाणा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुभाष बराला टोहाना सीट पर ही जननायक जनता पार्टी के उम्मीदवार देवेंद्र बबली के हाथों पराजित हुए थे। जिसके बाद वह काफी समय तक बिना किसी पद के रहे और प्रदेश भाजपा अध्यक्ष की बागडोर ओम प्रकाश धनकड के हाथ चली गई। बाद में बरोदा उपचनाव से ठीक पहले हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने विभिन्न बोर्ड और निगमों में जिस वक्त एक दर्जन से ज्यादा नियुक्तियां की उस दौरान हरियाणा के पूर्व प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सुभाष बराला को हरियाणा सार्वजनिक उपक्रम ब्यूरो का चेयरमैन लगा दिया गया था। सीएम की गुड बुक और पुराने भाजपा के कार्यकर्ता होने के कारण उन्हें अभी भी गाड़ी घोड़ा गनमैन तमाम सुविधाओं के साथ-साथ हरियाणा सचिवालय के आठवें फ्लोर पर दफ्तर दिया गया है। देवेंद्र बबली 2 साल से ज्यादा वक्त बीत जाने के बाद मंत्री बनने में सफल रहे लेकिन बराला को सियासी गलियारों में बबली की राह की बाधा माना जा रहा था। कुल मिलाकर देवेंद्र बबली के धैर्य और उपमुख्यमंत्री दुष्यंत चौटाला उनमें विश्वास ठीक वक्त पर काम आ गया है। यहां पर बता दें कि बरोदा उप चुनाव से ठीक पहले हरियाणा सरकार ने बोर्ड और निगमों में नियुक्ति के दौरान बराला को जिम्मेदारी दी थी।
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