खुशखबरी : पेड़ों की देखभाल करने वालों को 2500 रुपये पेंशन देगी हरियाणा सरकार, जानिए क्या है योजना

योगेंद्र शर्मा. चंडीगढ़
हरियाणा की मनोहर सरकार द्वारा पुराने पेड़ों को बचाने के लिए जारी अहम योजना को अब जमीनी हकीकत में बदलने का वक्त आ गया है। 7 से लेकर 10 दशक पुराने अर्थात शतायु पा चुके पुराने पेड़ों को जीवन देने के लिए जो भी किसान काम करेंगे उनको जल्द ही पेंशन मिलने की शुरुआत हो जाएगी। इन पेड़ाें को लेकर प्रदेश के अंदर होमवर्क पूरा हो चुका है, इस प्रकार पेड़ों की गिनती हरियाणा वन विभाग विभिन्न विभागों के सहयोग से कर चुका है।
उल्लेखनीय है कि गत 1 साल पहले हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल और हरियाणा के वन मंत्री कंवरपाल गुर्जर ने पुराने पेड़ को बचाने की मुहिम के तहत 70 से 100 साल वाले पेड़ों को बचाने वाले किसानों और पर्यावरण प्रेमियों के लिए एक पेंशन की व्यवस्था का ऐलान किया था हालांकि यह अभी तक लागू नहीं हुई है। इस योजना के तहत हर साल एक पेड़ के लिए 2500 रुपए पेंशन दिए जाने का प्रावधान रखा गया है। विभाग के सूत्रों का कहना है कि पूरे प्रदेश में 8 हजार से ज्यादा इस प्रकार के पेड़ हैं। जिसमें से 4 हजार पेड़ डिलीट कर लिए गए हैं बाकी को चिन्हित करने की प्रक्रिया जारी है। किस प्रकार से जल्द ही इन पेड़ों की देखरेख करने वाले लोगों को वार्षिक पैसा मिलना शुरू हो जाएगा।
बढ़ते प्रदूषण पर लगानी है रोक
यहां पर उल्लेखनीय है कि वन विभाग ने नई स्कीम प्रदेश में अब पुराने पेड़ों को भी पेंशन देने का ऐलान किया था उसी समय से किसान और पेड़ को बचाने वाले पर्यावरण प्रेमी इंतजार कर रहे हैं। हरियाणा में यह योजना बेहद कारगर साबित हो सकती है पर्यावरण और पेड़-पौधों को बचाने के लिए वन विभाग ने यह नया प्रयोग सफल रहा तो बाकी राज्यों में भी इसको लागू करने की होड़ लग जाएगी। हरियाणा के वन एवं पर्यटन मंत्री कुंवर पाल गुर्जर का कहना है कि इस योजना के तहत बढ़ते प्रदूषण पर समय रहते रोक लगाना है। इसक साथ ही अब सड़कों के किनारे आम के पौधे लगाए जाएंगे। योजना के तहत पेड़ पर तो वन विभाग का अधिकार होगा, लेकिन फल पास के खेत के किसानों के होंगे। इस प्रकार के हम कई कदम उठा रहे हैं।
खास बात यह है कि योजनाएं आम से खास सभी व्यक्ति के लिए हैं। प्रदेश में जहां भी 70-100 वर्ष पुराने पेड़ हैं, उनकी विभाग की ओर से पेंशन देने का मकसद पेड़ों को बचाने और इनकी देखरेख करने के लिए खर्च देने की व्यवस्था है। इस पेंशन की राशि से इन पेड़ों की देखरेख होगी। जो पेड़ पंचायत के क्षेत्र में होंगे उसका पैसा पंचायती फंड में जाएगा। यदि किसी की निजी जमीन पर पेड़ हैं तो उसके पेंशन की राशि जमीन मालिक को मिलेगा। इसके लिए वन विभाग ने कागजी तैयारी कर ली है।
हम पर्यावरण को बचाने के लिए संकल्पित : कंवरपाल
हरियाणा के वन एवं पर्यटन मंत्री कुंवरपुर गुर्जर का कहना है कि हम पुराने वृक्षों और पर्यावरण को बचाने के साथ-साथ नई पौध लगाने को लेकर संकल्पन है और इस दिशा में लगातार कदम उठाए जा रहे हैं। मात्र पौधारोपण कि नहीं हमारा प्रयास है कि वह पौधे बजाए जाए और वह वृक्ष बने।
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