Hisar : राष्ट्रीय एकता शिविर में 17 प्रदेशों के 200 स्वयंसेवक हुए एकजुट

Hisar : हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय में सात दिवसीय राष्ट्रीय एकता शिविर का शुभारंभ किया गया। शिविर में वरिष्ठ समाजसेवी पवन जिंदल ने मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की। शिविर के दौरान देशभर के 17 राज्यों से करीब 200 स्वयंसेवकों ने भाग लेकर अध्यात्म के साथ-साथ अन्य विधाओं के बारे में जाना। उन्होंने वक्ताओं के प्रेरणादायी वक्तव्यों को अपने जीवन में धारण करने का संकल्प लिया।
मुख्यातिथि पवन जिंदल ने कहा कि भारत देश ऋषि-मुनियों का देश है, जिसकी संस्कृति बलिदान और त्याग से मिलकर बनी है। ऋषि-मुनि व संत जो भगवा रंग के वस्त्र पहनते हैं वह लाल और पीले रंग से मिलकर बना है, जो बलिदान व त्याग के परिचायक है। उन्होंने कहा कि महान विचारक स्वामी दयानंद (Swami Dayanand) जैसे महान विभूतियों ने मानवता का पालन कर समाज को सुधारने का काम किया अर्थात इस राष्ट्रीय एकता शिविर के माध्यम से स्वयंसेवकों को समाज और स्वयं में सुधार लाने की जरूरत है ताकि हम समाज के प्रति अपने दायित्वों को, वसुधैव कुंटुम्बकम की भावना को व्यापकता तरीके से समझकर समाज के उत्थान में अपना सहयोग दे सकेंगे।
कुलपति बी.आर कम्बोज ने कहा कि आत्मनिर्भर भारत विषय पर आयोजित राष्ट्रीय एकता शिविर भारत सरकार द्वारा राष्ट्रीय सेवा योजना का मुख्य उद्देश्य समाज और स्वयं में सुधार लाना है। युवा अधिकारी देशराज ने कहा कि हकृवि की एनएसएस इकाई द्वारा राष्ट्रीय स्तर पर किए गए बेहतरीन प्रदर्शन कर रही है। उन्होंने विश्वविद्यालय के अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुविधाएं और आत्मनिर्भर भारत में योगदान के लिए सराहना की। अलग-अलग राज्यों से आए स्वयंसेवकों के पास राष्ट्रीय एकता शिविर वह मंच है, जिसमें वे खेलकूद सहित सांस्कृतिक कार्यक्रमों के माध्यम से अपने राज्यों की पारंपरिक वेशभूषा से लेकर संस्कृति से जुड़ेंगे।
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