Haryana में हर तरह की संपत्ति की होगी आईडी, इसमें सरकारी संपत्ति भी शामिल

हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल (Cm Manohar Lal) ने कहा कि प्रदेश में हर तरह की सम्पत्ति की आईडी (Property ID) दी जाएगी और इसमें सरकारी सम्पत्ति को भी शामिल किया जाएगा। साथ ही, सरकारी विभागों की परिसम्पत्तियों का स्वामित्व भी पंचायतों व जिला परिषदों (Panchayats and District Councils) से अलग किया जाएगा ताकि भविष्य में इस तरह की सम्पत्ति पर किसी तरह का विवाद न हो। इसके अलावा, विवादास्पद सम्पत्ति की भी अलग से श्रेणी बनाई जाएगी।
मुख्यमंत्री हरियाणा लार्ज स्केल मैपिंग प्रोजेक्ट व स्वामित्व योजना को लेकर समीक्षा बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। गौरतलब है कि हर सप्ताह वीरवार के दिन सभी जिला उपायुक्तों के साथ संवाद के मकसद से इस तरह की बैठक शुरू की गई है और इस कड़ी में दूसरी बैठक थी।
मनोहर लाल ने कहा कि चकबंदी का कार्य हर 50 साल के बाद दोबारा किए जाने की जरूरत है और चकबंदी कार्य के लिए अलग से काडर बनाया जाएगा। साथ ही, उन्होंने निर्देश दिए कि भूमि का मूल्यांकन गांव की बजाय एकड़ के हिसाब से किया जाए। उन्होंने कहा कि सरकारी परियोजनाओं के लिए स्वेच्छा से भूमि देने वाले लोगों के लिए ई-भूमि पोर्टल के रूप में एक प्लेटफार्म मुहैया करवाया गया है।
मुख्यमंत्री ने जिला पंचकूला के उपायुक्त को निर्देश दिए कि जिले के मोरनी ब्लॉक में ड्रोन मैपिंग का कार्य एक महीने के अंदर पूरा किया जाए। इसके लिए किसी भी किस्म की सहायता की आवश्यकता है तो संबंधित विभाग द्वारा वह तुरंत मुहैया करवाई जाएगी। उन्होंने अधिकारियों को यह भी निर्देश दिए कि इस काम के लिए 10 और ड्रोन मुहैया करवाए जाएं ताकि हर जिले में कम से कम एक ड्रोन उपलब्ध हो जाए।
मनोहर लाल ने कहा कि प्रदेश के गांवों को लाल डोरा मुक्त करने के मकसद से शुरू की गई महत्वाकांक्षी योजना से प्रभावित होकर केंद्र सरकार द्वारा इसे राष्ट्रीय स्तर पर स्वामित्व योजना के नाम से शुरू किया गया है। इससे सम्पत्ति को लेकर विवादों में कमी आएगी, मुकदमेबाजी कम होगी और रेवेन्यू कोर्ट का काम भी काफी हद तक कम हो जाएगा।
बैठक में बताया गया कि प्रदेश में कुल 7187 गांवों में से 5554 गांवों की ड्रोन आधारित इमेजिंग का कार्य पूरा हो चुका है। जिला रेवाड़ी में सभी लाल डोरा गांवों की ड्रोन इमेजिंग का काम पूरा हो गया है। भिवानी और महेंद्रगढ़ जिलों का प्रदर्शन भी अच्छा है। प्रदेश के 11 जिले जल्द ही लाल डोरा मुक्त हो जाएंगे जबकि शेष जिलों को लगभग 6 माह तक लाल डोरा मुक्त किया जा सकेगा। इसके अलावा, 345 गांवों को लाल डोरा मुक्त घोषित किया जा चुका है और लाल डोरा क्षेत्रों के लिए 30 मार्च तक 43166 टाइटल डीड पंजीकृत हुए हैं। इन सम्पत्तियों के लेन-देन हेतु अब वैब हेलरिस के माध्यम से पंजीकरण उपलब्ध है।
बैठक में बताया गया कि स्वामित्व को लेकर विवादों के निपटान के लिए एनआईसी द्वारा शिकायत निवारण पोर्टल बनाया गया है। अब तक 5318 विवाद पंजीकृत हुए हैं जिनमें से 2760 का निपटान किया जा चुका है।
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