कंडेला गांव फिर चर्चा में : बारिश के बीच शमशान घाट में जुगाड़ करके बनाया शेड, फिर हो पाया अंतिम संस्कार

कंडेला गांव फिर चर्चा में : बारिश के बीच शमशान घाट में जुगाड़ करके बनाया शेड, फिर हो पाया अंतिम संस्कार
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हाल ही में कंडेला खाप चौधर को लेकर खूब दम लगाया गया था। एक ही गांव से एक ही खाप के दो चौधरी बनाए गए। जिनके सम्मान समारोह पर खूब खर्च किया गया। जन समस्याओं को उठाने के दावे भी किए गए और बड़े बड़े कार्यक्रमों की रूपरेखा की घोषणा भी की गई थी।

हरिभूमि न्यूज. जींद

सूर्खियों में रहने वाली कंडेला खाप अब फिर सूर्खी बन रही है, जिसके पीछे गांव के शमशान घाट में शेड न होना है। बुधवार को बारिश के बीच शेड न होने के चलते ग्रामीणों ने जुगाड़ कर अस्थायी शेड बनाया फिर महिला का अंतिम संस्कार किया गया। हाल ही में कंडेला खाप चौधर को लेकर खूब दम लगाया गया था। एक ही गांव से एक ही खाप के दो चौधरी बनाए गए। जिनके सम्मान समारोह पर खूब खर्च किया गया। जन समस्याओं को उठाने के दावे भी किए गए और बड़े बड़े कार्यक्रमों की रूपरेखा की घोषणा भी की गई थी।

गांव के शमशान घाट के हालात यहां तक है कि चिता को बारिश से बचाने के लिए शैड नहीं है तो चिता में प्रयोग किए जाने वाले इंधन को रखने के लिए किसी कमरे की व्यवस्था भी नहीं है। बारिश के चलते लोगों ने अस्थायी शेड बनाया जिसमे बांस, तिरपाल तथा चदरों का सहारा लिया गया। फिर कहीं जाकर अंतिम संस्कार किया जा सका। जिसके चलते परिजनों को अच्छी खासी परेशानी का सामना करना पड़ा। गांव कंडेला के जाग्रति मंच ने राजनीति को छोड़ कर गांव के विकास की बात कही है।

गांव कंडेला निवासी भूप सिंह की 45 वर्षीय पत्नी सुमन का मंगलवार को देहांत हो गया। इसी दौरान बारिश भी शुरू हुई जो बुधवार को भी पूरा दिन जारी रही। ऐसे में मृतक परिजन बुधवार को मृतका के शव को लेकर गांव के शमशान घाट में पहुंचे तो वहां कोई शेड न होने के चलते उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ा। जिस पर मृतक महिला के परिवार एवं गांव के युवाओं ने मिल कर तिरपाल से अस्थायी शेड बनाया और फिर महिला का दांह संस्कार किया जा सका। करीब छह माह पहले पहले जाग्रती मंच कंडेला द्बारा देवी मंदिर में लकड़ी के लिए हाल व श्मशान में शेड बनाने का कार्य किया जा रहा था जो अबतक पूरा नहीं हो पाया है।

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