Diwali 2021 : स्वदेशी वस्तुएं बनीं पहली पसंद, चाइनीज सामान से लाेगों ने बनाई दूरी

Diwali 2021 : स्वदेशी वस्तुएं बनीं पहली पसंद, चाइनीज सामान से लाेगों ने बनाई दूरी
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पहले की अपेक्षा लोगों में काफी परिवर्तन आया है। अब लोग स्वदेशी निर्मित वस्तुओं का प्रयोग करने लगे हैं। इस वर्ष देशी बड़ी कंपनियों ने कम दाम में एलईडी बल्ब युक्त सतरंगी झालरों की भारी खेप बाजार में लांच की है, जिसे लोग पसंद भी कर रहे हैं।

हरिभूमि न्यूज. बहादुरगढ़

करवा चौथ के बाद अब दीपावली को लेकर बाजारों में रौनक बढ़नी शुरू हो गई है। आसपास के गांवों समेत नगर के लोग बाजार में आकर खरीदारी करने लगे हैं। दीपावली पर घर की सुंदरता में किसी भी प्रकार की कोई कमी न रहे, इसके लिए लोग विभिन्न प्रकार की साज-सज्जा का सामान भी खरीद रहे हैं, लेकिन लोग इस वर्ष भी चाइनीज सामान से दूरी बनाए हुए हैं। उनकी पहली पसंद स्वदेशी वस्तुएं ही हैं।

पहले की अपेक्षा लोगों में काफी परिवर्तन आया है। अब लोग स्वदेशी निर्मित वस्तुओं का प्रयोग करने लगे हैं। नगर के मुख्य बाजारों में दीपावली के लिए महंगे-महंगे गुलदस्ते, झालर-लड़ी, क्रॉकरी समेत विभिन्न उत्पाद खरीद रहे हैं। लोगाों का मानना है कि दीपावली के दिन घर में लक्ष्मी का प्रवेश होता है। उनके आगमन पर घर में जोरदार तैयारियां की जा रही हैं। लोग गणेश-लक्ष्मी, हनुमान तथा अन्य प्रकार की प्लास्टिक, मिट्टी, चांदी की मूर्तियां खरीद रहे हैं। दीपावली के लिए जो लोग खरीदारी कर रहे हैं, उनमें से अधिकांश चाइनीज वस्तुओं का बहिष्कार ही कर रहे हैं। लोग इस वर्ष भी दीपावली पर घर की छतों पर चाइनीज बल्ब की लडि़यां लगाने के लिए मना कर रहे हैं। दुकान पर आकर स्वदेशी वस्तुओं की जानकारी ले रहे हैं।

इस वर्ष देशी बड़ी कंपनियों ने कम दाम में एलईडी बल्ब युक्त सतरंगी झालरों की भारी खेप बाजार में लांच की है, जिसे लोग पसंद भी कर रहे हैं। सत्येंद्र दहिया के अनुसार पिछले कुछ वर्षों से लोगों की सोच में काफी बदलाव आया है। लोग स्वदेशी वस्तुओं को पसंद कर रहे हैं। इस बार भी हम लोगों ने चाइना की झालरों के बहिष्कार की अपील की है। इंटरनेट मीडिया पर अभी से लोगों के संदेश आने लगे हैं, लोग कह रहे हैं कि वह चाइना की वस्तुएं नहीं खरीदेंगे। विश्वदीप जून के अनुसार उनका उद्देश्य है कि बच्चों में अधिक से अधिक जागरूकता लाई जाए। यदि बच्चों में परिवर्तन आ गया तो वह स्वदेशी वस्तुओं का प्रयोग करना शुरू कर देंगे, इससे परिवारों में भी परिवर्तन आना शुरू हो जाएगा। सुशील राणा के अनुसार लोगों को समझाने की कोशिश कर रहे हैं कि स्वदेशी वस्तुओं का प्रयोग करें। झालरें, लाइट और घरेलू सामान स्वदेशी ही खरीदें। अब लोगों में काफी जागरूकता देखने को मिल रही है।

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