कांग्रेस में अंदरूनी कलह : सैलजा सहित कई स्टार प्रचारकों ने आदमपुर उपचुनाव से बनाई दूरी, दीपेंद्र हुड्डा बोले- केवल शक्ल दिखाने मत आना

हिसार। उपचुनाव में आदमपुर में कांग्रेस प्रत्याशी जयप्रकाश के चुनाव कार्यालय के उद्घाटन अवसर पर सांसद दीपेंद्र हुड्डा ने अपनी ही पार्टी के नेताओं को चुनाव प्रचार की औपचारिता निभाने की बजाए गंभीर होकर चुनाव लड़ने की नसीहत दी है। उनका कहना है कि जिन नेताओं की चुनाव अभियान में ड्यूटी लगाई गई है वह केवल रस्मी तौर पर अपने शक्ल दिखाने नहीं आएं। अगर ऐसा हुआ तो वह ऐसे नेताओं को नेगेटिव मार्क देंगे। जिले से बाहर कांग्रेस के जिन नेताओं को आदमपुर हलके के जिन गांवों में ड्यूटी लगाई है वह या तो गंभीर होकर पार्टी प्रत्याशी के समर्थन में वोट बढ़ाएं अन्यथा ड्यूटी छोड़कर जा सकते हैं।
अंदरूनी कलह को भांपा
सांसद दीपेंद्र के सार्वजनिक तौर पर टिप्पणी करने के अनेक राजनीतिक मायने हैं। दरअसल, कांग्रेस प्रत्याशी के तौर पर जयप्रकाश जहां आदमपुर में दूसरी बार किस्मत आजमाने उतरे हैं। चुनाव के लिए नामांकन भरने के दिन से ही पार्टी की धड़ेबंदी सामने आई है। एक गुट विशेषकर सैलजा गुट के लीडर प्रचार अभियान से दूरी बनाए हुए हैं। सूत्र बताते हैं कि कांग्रेस प्रत्याशी के समर्थकों ने दीपेंद्र के आदमपुर आने पर शिकायत की है कि पार्टी के कुछ नेता ऐसे हैं जो या तो अभी तक नदारद हैं या फिर औपचारिकता निभाकर चले जाते हैं। औपचारिकता निभाने वाले इन कांग्रेस नेताओं को जेपी के चुनाव जीतने या नहीं जीतने से उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ने वाला है। इसलिए अधूरे मन से चुनाव प्रचार करने वालों को मैसेज जरूरी है।
कार्यकर्ताओं की इस शिकायत पर दीपेंद्र ने खुले मंच से कहा कि चुनाव प्रचार का दिखावा करने वाले ऐसे नेता मुझे भी बार बार राम राम करने से बाज आएं। उन्होंने कहा कि चुनाव में केवल शक्ल दिखाने से काम नहीं चलने वाला है। जिन नेताओं को हलके में जिन गांवों की ड्यूटी लगाई गई है, वह सभी अपने बूथ की सर्वे रिपोर्ट बनाएं। रिपोर्ट देने से पहले सभी नेता यह भी मेंशन करें कि उनके चुनाव प्रचार करने के पहले संबंधित बूथ पर कांग्रेस प्रत्याशी के हक में वोटों की क्या स्थिति थी। चुनाव प्रचार में मेहनत करने के बाद कितने वोटों की संख्या में कितनी बढ़ोतरी हुई है।
चंद्रमोहन कब चुप्पी तोड़ेंगे
कांग्रेस पार्टी के स्टार प्रचारकों की लिस्ट में शामिल पूर्व उपमुख्यमंत्री चंद्रमोहन भी चुनाव प्रचार में अब तक नहीं उतरे हैं। उनके भतीजे भव्य बिश्नोई भाजपा के उम्मीदवार हैं। राज्यसभा चुनाव में निदर्लीय उम्मीदवार के जीतने के बाद कुलदीप परिवार ने कांग्रेस से दूरी बनाते हुए भाजपा ज्वाइन कर ली थी। लेकिन कुलदीप के बड़े भाई चंद्रमोहन कांग्रेस में रहे। अपने भतीजे के खिलाफ चुनाव प्रचार किए जाने पर उन्होंने चुप्पी साध रखी है। बता दें कि आदमपुर उपचुनाव में कांग्रेस के 20 स्टार प्रचारकों की लिस्ट में शामिल कुमारी सैलजा के अलावा रणदीप सिंह सुरजेवाला, किरण चौधरी, श्रुति चौधरी समेत कम से कम 10 स्टार प्रचारकों ने अभी आदमपुर हलके में प्रचार अभियान आरंभ नहीं किया है।
पार्टी के अन्य स्टार प्रचारक पूर्व मंत्री गीता भुक्कल, पूर्व विधायक आफताब अहमद, अशोक अरोड़ा, राव दान सिंह, धर्मसिंह छोकर आदि जरूर पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के साथ जयप्रकाश का परचा दाखिल करवाने पहुंचे थे। इस संबंध में बताया गया कि कुछ स्टार प्रचारकों की आदमपुर हलके में अभी तक ड्यूटियां फाइनल नहीं हुई हैं। अगले कुछ दिनों में स्टार प्रचारकों की सक्रियता से तस्वीर साफ होगी कि जयप्रकाश अपने दम पर चुनावी नैय्या पार करने की कोशिश करेंगे या उनकी नाव के खिवैया होने के साथ कितने अन्य नेताओं का नाव को सहारा देने की लिस्ट में नाम शुमार होगा।
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