हरियाणा कांग्रेस के नेताओं के बीच दूरियां मिटाने में जुटे मल्लिकार्जुन खड़गे, दिल्ली में की चर्चा

हरियाणा में आने वाले वक्त में लोकसभा-2024 और विधानसभा चुनावों को लेकर सत्ता पक्ष और विपक्ष दोनों ही तैयारी में लगे हुए हैं। हरियाणा में राज कर रही सत्ताधारी पार्टी भाजपा (BJP) के सियासी दिग्गजों ने सबसे पहले चुनावी बिगुल बजाते हुए अहम बैठकों की शुरुआत कर दी है। दूसरी तरफ कांग्रेस पार्टी हाईकमान की नजर भी अब हरियाणा पर है, इसलिए राज्य के पार्टी नेताओं की दूरियां मिटा कर एक मंच पर लाने की कवायद शुरू हो गई है। अब यह काम खुद पार्टी राष्ट्रीय अध्यक्ष कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे (Mallikarjun Kharge) करेंगे।
सूत्रों का कहना है कि हरियाणा में विधानसभा और लोकसभा चुनावों में पार्टी को विजयश्री दिलाने के लक्ष्य के साथ ही सभी सियासी दिग्गज नेताओं को एकजुट करने का काम खुद कांग्रेस राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे करेंगे। अध्यक्ष मल्लिकार्जुन ने कांग्रेस के सभी प्रमुख नेताओं से दिल्ली में चर्चा भी की है। सूबे में हरियाणा कांग्रेस मामलों के नए प्रभारी दीपक बाबरिया की नियुक्ति भी हाल ही में इसी उद्देश्य से की गई है। राज्य के कांग्रेसी दिग्गजों की यह पहली बैठक की गई है, साथ ही प्रभारी राज्य में पार्टी को ज्यादा मजबूत करने सभी नेताओं को एकजुट करने के साथ पार्टी संगठन को पूरी तरह से तैयार कर घोषणा की तैयारी है। इस क्रम में जल्द ही हरियाणा में कांग्रेस का संगठन तैयार कर घोषणा कर दी जाएगी। अगले माह सितंबर में संगठन को लेकर नए जिलाध्यक्ष और ब्लाक अध्यक्षों की घोषणा की तैयारी है। जिलाध्यक्ष और ब्लाक अध्यक्ष बनाने में कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं स्पेशल कोटा सिस्टम और भाई भतीजावाद भी नहीं चलेगा बल्कि एक नई व्यवस्था तैयार की गई है।
राष्ट्रीय सचिव स्तर के दो पर्यवेक्षक नियुक्त किए जाएंगे
कांग्रेस हाईकमान की ओर से राष्ट्रीय सचिव स्तर पर दो पर्यवेक्षक हरियाणा में नियुक्त करने की तैयारी है। राज्य में कांग्रेस मामलों के प्रदेश प्रभारी दीपक बाबरिया संगठन बनाने में सहयोग करेंगे। यहां पर उल्लेखनीय है कि हरियाणा कांग्रेस दो धड़ों में बंटी जिसमें सबसे पहले नेता विपक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र हुड्डा का है। जिसमें अधिकांश विधायक व प्रभावशाली नेता शामिल हैं। दूसरी तरफ दूसरे गुट में कांग्रेस महासचिव रणदीप सुरजेवाला, पूर्व केंद्रीय मंत्री सैलजा, किरण चौधरी जैसे चेहरे शामिल हैं। अब नेता विपक्ष के गुट के विरुद्ध तीन बड़े नेता एक मंच पर आ गए हैं। इस तरह के संकेत तीनों ने प्रेस कांफ्रेंस कर दे दिए हैं। गुटबाजी और धड़े बंदी यहां तक है कि पार्टी के कार्यक्रमों से हटकर भी सियासी दिग्गजों के गुट अपने अपने अलग कार्यक्रम चलाते रहते हैं, गुटबाजी के सवालों को जहां एक धड़ा टाल जाता है, तो दूसरे गुट के किसी भी तरह की दूरियां होने की बात से इनकार करते हैं। नेता विपक्ष और पूर्व सीएम भूपेंद्र सिंह हुड्डा गुट विपक्ष आपके समक्ष की मुहिम चलाए हुए है। हुड्डा विरोधी दूसरा खेमा विभिन्न मुद्दों पर जनसभाएं और पीसी कर चुका है।
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