हैवान मामा : नाबालिग भांजी के साथ किया दुष्कर्म, अब 20 साल रहना होगा जेल में

हैवान मामा : नाबालिग भांजी के साथ किया दुष्कर्म, अब 20 साल रहना होगा जेल में
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टोहाना एरिया के महिला की शिकायत पर जाखल पुलिस थाना में 18 जुलाई 2021 को पंजाब निवासी सन्नी उर्फ चन्नी के खिलाफ पोक्सो एक्ट सहित विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था।

हरिभूमि न्यूज : फतेहाबाद

मामा-भांजी के रिश्ते को कलंकित करने वाले व्यक्ति को अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश व फास्ट ट्रैक कोर्ट के जज बलवंत सिंह की अदालत ने 20 साल की कैद व 10 हजार रूपये जुर्माने की सजा सुनाई है। रिश्ते में भांजी लगने वाली नाबालिगा के घर में घुसकर उसके साथ दुुष्कर्म किया गया था। अदालत ने दोषी को आईपीसी की धारा 450 में 3 साल की कैद व 3 हजार जुर्माना तथा आईपीसी की धारा 506 से 6 माह की कैद 500 रूपये जुर्माने की सजा भी सुनाई।

जानकारी के अनुसार टोहाना एरिया के महिला की शिकायत पर जाखल पुलिस थाना में 18 जुलाई 2021 को पंजाब निवासी सन्नी उर्फ चन्नी के खिलाफ पोक्सो एक्ट सहित विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया था। पुलिस को दी शिकायत में महिला ने बताया कि 17 जुलाई 2021 को दोपहर उसकी 13 वर्षीय लड़की घर पर अकेली थी तो मेरी मौसी का लड़का आरोपी चन्नी हमारे घर आया। उसने घर में घुसकर मेरी लड़की के साथ गलत काम किया। पीड़िता ने पुलिस को अपने बयान में बताया कि आरोपी ने धमकी दी की इसके बारे में किसी को बताया तो वह उसे जान से मार देगा। अदालत ने दोनो पक्षों की बहस सुनने के बाद आरोपी सन्नी उर्फ चन्नी को पोक्सो एक्ट की धारा 6 ए आईपीसी की धारा 450 व 506 के तहत दोषी करार दिया था। अदालत ने अब उसे 20 साल कैद व जुर्माने की सजा सुनाई है।

छह साल की बच्ची को गलत इशारे करने के आरोपी को तीन साल की कैद

कैथल। अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश कैथल पूनम सुनेजा की अदालत ने 6 साल की बच्ची को अश्लील इशारे करने के मामले की सुनवाई करते हुए रामेश्वर निवासी गांव नंदकरण माजरा को तीन साल कैद व 20 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई। जुर्माना अदा न करने पर आरोपी को 4 महीने की अतिरिक्त सजा भी भुगतनी होगी।

शिकायतकर्ता के भाई की 6 वर्षीय पौत्री अपने घर के बाहर खेल रही थी। खेलते-खेलते वह पड़ोसी रामेश्वर के घर के पास चली गई। बच्ची को देखकर रामेश्वर ने उसकी ओर गंदे, अश्लील इशारे किए और उसे गलत हरकत करने के लिए बुलाने लगा। यह सब देखकर बच्ची घबरा गई और अपने घर की तरफ भागी और आप बीती अपनी दादी को बताई। फिर उसकी दादी ने यह घटना अपने जेठ को बताई। इसके बाद शिकायतकर्ता अपने चचेरे भाई के साथ रामेश्वर के घर गया लेकिन वह मिला नहीं। घटना की शिकायत पुलिस को दी गई। पुलिस ने केस दर्ज करके जांच की और अदालत में चालान पेश किया। दोनों पक्षों को सुनने के बाद एडीजे पूनम सुनेजा की अदालत ने रामेश्वर को दोषी पाया और तीन साल के कारावास तथा 20 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई है। जमानत न होने के कारण रामेश्वर पहले से ही जेल में है।


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