अब विश्वविद्यालय कर्मचारी भी रहें तैयार, दूसरी यूनिवर्सिटी में हो सकता है तबादला

अमरजीत एस गिल:रोहतक
महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय समेत प्रदेश के दूसरी सरकारी यूनिवर्सिटी के कर्मचारी तबादले के लिए तैयार रहें। हो सकता है कि एमडीयू के कर्मचारियों को चौधरी देवीलाल यूनिवर्सिटी सिरसा, सिरसा वालों को गुरुग्राम, गुरुग्राम वालों को हिसार, हिसार वालों को मुरथल और मुरथल विश्वविद्यालय के कर्मचारियों का तबादला राज्य सरकार पंडित भगवत दयाल शर्मा स्वास्थ्य विज्ञान विश्वविद्यालय रोहतक में कर दे। अन्तर विश्वविद्यालय कर्मचारियों के तबादले करने की तैयारी सरकार कर रही है।
हालांकि यह प्रक्रिया काफी दिनों से चल रही थी लेकिन अब इसमें तेजी है। सरकार के आदेश पर महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय समेत प्रदेश के सभी सरकारी विश्वविद्यालयों के कर्मचारियों का एचआरएमएस पोर्टल पर डाटा अपलोड किया जा रहा है।
डीसी को तृतीय और चतुर्थ श्रेणी की भर्ती करने का अधिकार
इस समय व्यवस्था यह है कि किसी भी विश्वविद्यालय कर्मचारियों का तबादला दूसरी यूनिवर्सिटी में नहीं होता है। इसलिए कर्मचारी दिल लगाकर एक जगह काम करते हैं। यूनिवर्सिटी कर्मचारियों को जहां इधर-उधर जाना पड़ेगा। कुछ दशक पहले तक डीसी को तृतीय और चतुर्थ श्रेणी की भर्ती करने का भी अधिकार था लेकिन यह सब खत्म किया जा चुका है। ऐसा ही व्यवस्था सरकार विश्वविद्यालयों के कुलपति के लिए करना चाहती है।
राज्यपाल-कुलाधिपति को देेंगे ज्ञापन
पूरे शिक्षक समुदाय को साथ लेकर एचआरएमएस पोर्टल पर डेटा अपलोडिंग और विश्वविद्यालय स्वायत्तता के अतिक्रमण का विरोध किया जाएगा। इस संबंध में बुधवार की बैठक में इस मामले में राज्यपाल-कुलाधिपति, मुख्यमंत्री व शिक्षा मंत्री को ज्ञापन देने का निर्णय भी लिया गया। शिक्षक तथा गैर शिक्षक समुदाय का प्रतिनिधिमंडल व्यक्तिगत तौर पर इनसे मिलकर अपना पक्ष रखेगा। साथ ही विरोध स्वरूप काली पट्टी लगाने का निर्णय लिया गया। बैठक में शिक्षकों ने आम राय जताई कि जहां नई शिक्षा नीति विश्वविद्यालयों में स्वायत्तता की बात कह रही है, वहीं प्रदेश सरकार एचआरएमएस पाेर्टल तथा अन्य निर्णयों के जरिए स्वायत्तता पर कुठाराघात कर रही है। ऐसे में यदि प्रदेश सरकार अपना निर्णय नहीं बदलती तो शिक्षक समुदाय आंदोलनात्मक कदम उठाने के लिए मजबूर होगा। इस बैठक में शिक्षक संघ के महासचिव डाॅ. सुधीर कटारिया, कोषाध्यक्ष डाॅ. विनित मित्तल आदि थे।
नीति का हर स्तर पर विरोध किया जाएगा
कर्मचारियों को पूरी आंशका है कि एचआरएमएस पोर्टल पर डाटा अपलोड करने से राज्य सरकार इंटर यूनिवर्सिटी तबादले करने की नीति बनाएगी। सरकार की इस नीति का हर स्तर पर विरोध किया जाएगा। क्योंकि विश्वविद्यालय स्वायत्तत संस्थान हैं और यह स्वायत्तता बरकरार रखी जाएगी। -रणधीर कटारिया, प्रधान गैर शिक्षक कर्मचारी संघ एमडीयू
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