नूंह : नवजात बच्चे की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में किसी ठोस नतीजे पर नहीं पहुंचे डॉक्टर, महिला आयोग की चेयरपर्सन पहुंची अस्पताल

नूंह : नवजात बच्चे की पोस्टमार्टम रिपोर्ट में किसी ठोस नतीजे पर नहीं पहुंचे डॉक्टर, महिला आयोग की चेयरपर्सन पहुंची अस्पताल
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पोस्टमार्टम प्रक्रिया में तीन डॉक्टरों का बोर्ड किसी ठोस नतीजे तक नहीं पहुंच सका। इसलिए सैंपल लेकर भौंडसी प्रयोगशाला भेज दिए गए हैं। भौंडसी प्रयोगशाला से रिपोर्ट आने के बाद ही बोर्ड किसी ठोस नतीजे की तरफ बढ़ सकता है।

नूंह : ड्यूटी मजिस्ट्रेट तहसीलदार भूपेंद्र कुमार फिरोजपुर झिरका की देखरेख में रविवार शाम जमीन से बाहर निकाले गए नवजात शिशु के शव का सोमवार को पोस्टमार्टम करवाने में शाम हो गई। पोस्टमार्टम प्रक्रिया में तीन डॉक्टरों का बोर्ड किसी ठोस नतीजे तक नहीं पहुंच सका। इसलिए सैंपल लेकर भौंडसी प्रयोगशाला भेज दिए गए हैं। भौंडसी प्रयोगशाला से रिपोर्ट आने के बाद ही बोर्ड किसी ठोस नतीजे की तरफ बढ़ सकता है। कुल मिलाकर ड्यूटी मजिस्ट्रेट भूपेंद्र कुमार की तहरीर के बाद पोस्टमार्टम तो सोमवार देर शाम तक हो गया, लेकिन जिस पोस्टमार्टम रिपोर्ट का इंतजार था, उसका अभी कुछ दिन और इंतजार करना पड़ सकता है।

गौरतलब है कि भरतपुर जिले के घाटमीका गांव के दो युवकों का बजरंग दल के कार्यकर्ताओं पर अपहरण व मारपीट करने के साथ-साथ जिंदा जलाने का आरोप है। राजस्थान पुलिस ने बजरंग दल से जुड़े पांच लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया है। राजस्थान पुलिस मामले में नामजद श्रीकांत मरोड़ा के घर पर छापेमारी करने आई थी। श्रीकांत मरोड़ा के परिवार ने आरोप लगाया कि रात्रि के समय 30-40 की संख्या में आए राजस्थान पुलिस के जवानों ने उनके दरवाजे खटखटाए और उनकी पत्नी को धक्का दिया, जिसकी वजह से वह गिर गई और गिरने की वजह से उसने मृत नवजात बच्चे को राजकीय शहीद हसन खान मेवाती मेडिकल कॉलेज नल्हड़ में जन्म दिया। पहले तो बिना किसी कानूनी कार्रवाई के श्रीकांत के परिजनों ने नवजात बच्चे को दबा दिया, बाद में नगीना थाने में राजस्थान पुलिस पर कार्रवाई करने की शिकायत की ओर गंभीर आरोप लगाए।

बवाल बढ़ा तो बच्चे के शव को जमीन से निकालकर पोस्टमार्टम के लिए रविवार शाम के समय ले जाया गया। अंधेरा होने के कारण रविवार को नवजात बच्चे के शव का पोस्टमार्टम नहीं हुआ, लेकिन मामला पेचीदा होने के कारण पोस्टमार्टम प्रक्रिया सोमवार भी देर शाम तक चली। रिपोर्ट आने में तो 9 बजे से भी अधिक का समय हो गया। कुल मिलाकर प्रयोगशाला भेजे गए सैंपल की रिपोर्ट के बाद ही साफ तौर से पता चल पाएगा कि बच्चे की मौत चोट लगने के कारण हुई है या फिर कोई अन्य वजह है। अभी भी मामले में पहेली उलझी हुई है और राजनीतिक पारा पूरी तरह से गर्म है।

भारतीय जनता पार्टी तथा हिंदू संगठनों से जुड़े लोग लगातार मेवात का दौरा कर रहे हैं और राजस्थान सरकार पर करारा वार कर रहे हैं, लेकिन राजस्थान पुलिस ने दो टूक कहा है कि उन्होंने किसी की कोई पिटाई नहीं की और हरियाणा पुलिस को साथ लेकर वह कार्यवाही कर रहे हैं। अब देखना यह है कि एफएसएल की रिपोर्ट के बाद स्थिति क्या निकल कर सामने आती है। उसके बाद ही अल आफिया सामान्य अस्पताल मांडीखेड़ा के डॉक्टरों का गठित बोर्ड अपनी राय स्पष्ट करेगा

महिला आयोग हरियाणा की चेयरपर्सन राजकीय शहीद हसन खान मेवाती मेडिकल कॉलेज पहुंची

आरोपी श्रीकांत के घर की गई रेड के बाद शुरू हुए विवाद में महिला आयोग हरियाणा की चेयरपर्सन रेनू भाटिया सोमवार को राजकीय शहीद हसन खान मेवाती मेडिकल कॉलेज में उपचाराधीन महिला से मुलाकात करने पहुंची। रेनू भाटिया की इस मुलाकात के दौरान मेडिकल कॉलेज प्रशासन, सीएमओ नूंह के अलावा डीएसपी सतीश वत्स फिरोजपुर झिरका तथा राजबीर एसएचओ नगीना भी मौजूद रहे।

चेयरपर्सन रेनू भाटिया ने कहा कि मुझे बड़ा अफसोस है कि आज भी हमारे देश में महिलाओं के साथ इस तरह की प्रताड़ना होती है। वैसे चाहे कोई भी कारण रहा हो इस केस का और यदि कोई छानबीन भी थी और पुलिस के पास कोई केस था, तो रात के समय अगर वह घर पर प्रवेश कर रहे थे, तो सबसे बड़ी गलती। उन्होंने कहा कि उनके साथ महिला पुलिस अधिकारी नहीं थी, जो उन्होंने नहीं किया। यह बड़ी गलती राजस्थान पुलिस की है। इसका खामियाजा उनको भुगतना पड़ेगा।

रेनू भाटिया ने कहा कि रात को घर पर आकर महिलाओं के साथ राजस्थान पुलिस ने धक्का-मुक्की कर दूसरी गलती कर दी। जांच करनी थी तो दिन में आ सकते थे। अगर कोई शक था, तो उन्हें इस बात का संज्ञान होना चाहिए कि घर में महिला भी हो सकती है। रेनू भाटिया ने कहा कि आधी रात को महिलाओं के ऊपर प्रहार करना, दरवाजा खटखटाना, धक्का-मुक्की करना जो महिला गर्भवती थी। ऐसे में उसने अपने बच्चे को खोया और उसकी भी जान जा सकती थी। इसकी पूरी जांच होगी।

रेनू भाटिया ने कहा कि महिला आयोग ऊपरी स्तर पर लिखेगा। उन्होंने कहा कि हमने डीजी को लिखा है कि इस मामले की पूरी जांच होनी चाहिए, पता लगना चाहिए। इस तरह की घटना कैसे हुई, उन्होंने कहा कि गृहमंत्री से राजस्थान पुलिस के खिलाफ कार्रवाई की मांग करते हैं। इस तरह से किसी दूसरे राज्य में महिलाओं के साथ इस तरह से बदसलूकी नहीं होनी चाहिए। चेयरपर्सन ने कहा कि हम अपने गृह मंत्री के माध्यम से देश के गृह मंत्री को लिखेंगे ताकि उस काम को आगे बढ़ा सके। उन्होंने कहा कि महिला आयोग भी इस मामले में कार्रवाई करेगा।

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