संसद सुरक्षा चूक मामला : गिरफ्तार की गई नीलम के पक्ष में उतरा संयुक्त किसान मोर्चा

- पंचायत में 3 प्रस्ताव पास, नीलम की रिहाई, यूपीए एक्ट हटाने की मांग, युवाओं को रोजगार दिलाने में सरकार करे मदद
- बेटे के साथ दिल्ली जाएगी नीलम की मां सरस्वती
Jind : संसद की सुरक्षा में सेंध लगाने के मामले में गिरफ्तार की गई गांव घसो खुर्द निवासी नीलम के समर्थन में संयुक्त किसान मोर्चा उतरा। उचाना के तहसील कार्यालय के आगे हुई पंचायत में दाड़न खाप से सूरजनभान, सिक्किम श्योकंद, माजरा खाप से समुंद्र फोर सहित अन्य कई खाप नेता शामिल हुए। धरना संयोजक आजाद पालवां ने पंचायत को संबोधित करते हुए कहा कि दिल्ली के अंदर जो घटना घटी है, उसमें घसो खुर्द गांव की बेटी नीलम ने अपनी आवाज को बुलंद किया। नीलम ने विद्यार्थी, बेरोजगारों, गरीब, मजदूरों की आवाज को उठाया है, इसलिए इस पंचायत का आयोजन किया गया।
पालवां ने कहा कि इन नौजवानों की मंशा खराब नहीं थी, इनके विचार गलत नहीं थे, किसी को हानि पहुंचाने की मंशा नहीं थी। इसलिए इस प्रकार का संगीत एक्ट लगने का कोई औचित्य नहीं बनता है। अगर उनकी मांगें नहीं मानी गई तो फिर खाप पंचायतें पूरे हरियाणा में सभी संगठनों से बात कर बड़ा फैसला लेने का काम करेंगे और पूरे हरियाणा को एकत्रित किया जाएगा। पंचायत में किसान नेत्री सिक्कम श्योकंद ने नीलम द्वारा किए गए कार्य को पूरी तरह से सही बताते हुए और कहा कि सरकार को जागने के लिए यह धमाका करना बहुत जरूरी था। नीलम ने इस विरोध के माध्यम से बेरोजगार युवाओं की आवाज को उठाया है। सरकार ने सत्ता में आने के लिए युवाओं को रोजगार देने की बात कही थी लेकिन सरकार अब युवाओं को रोजगार देने के लिए कोई कदम नहीं उठा रही है।
यह प्रस्ताव किए गए पास
पंचायत में नीलम के समर्थन में तीन प्रस्ताव पास किए गए। पहला प्रस्ताव है कि किसान, मजदूर की आवाज उठाने के लिए युवा को रोजगार दिलाने में सरकार मदद करे। युवाओं की रोजगार की मांग को उठाने के लिए जो तानाशाही चल रही है, उसके खिलाफ आवाज उठाने वाली नीलम को रिहा किया जाए। नीलम पर यूपीए की जो संगीन धारा लगाई गई है, उसे हटाया जाए।
बेटे के साथ दिल्ली जाएगी नीलम की मां सरस्वती
नीलम की मां सरस्वती देवी ने कहा कि जब कोई बच्चा इतना पढ़ने के बाद भी बेरोजगार रहता है तो वह निश्चित तौर पर कुछ गलत कर सकता है लेकिन नीलम ने बेरोजगार युवाओं की आवाज को उठाया है। दिल्ली जाने के बारे में पूछे जाने पर सरस्वती देवी ने कहा कि अकेले उनके जाने से कुछ होने वाला नहीं है। किसान संगठन और खाप पंचायतें इकट्ठा हो रही हैं और उनका बेटा उनके साथ दिल्ली जाएगा।
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